Ankita Bhandari Hatyakaand : अंकिता भंडारी हत्याकांड में आया कोर्ट का बड़ा फैसला…तीनों दोषियों को उम्रकैद की सजा…
कोटद्वार, 30 मई। Ankita Bhandari Hatyakaand : दो साल से अधिक समय के बाद अब देश के बहुचर्चित अंकिता भंडारी हत्याकांड पर आज कोर्ट का फैसला आ गया है। कोटद्वार की अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश ने इस मामले पर सुनवाई के बाद आज यानी 30 मई को फैसला सुनाया है। कोर्ट ने इस मामले में तीनों आरोपियों पुलकित आर्य, सौरभ भास्कर और अंकित गुप्ता को दोषी करार दिया है। इसके अलावा कोर्ट ने तीनों दोषियों को उम्रकैद की सजा सुनाई है। बता दें कि इस मामले की सुनवाई कुल दो साल आठ महीने तक चली। इस दौरान तमाम सबूतों और गवाहों को पेश किया गया। इसमें कुल 100 गवाह पेश किए (Ankita Bhandari Hatyakaand)गए। वहीं मामले की जांच के लिए SIT का गठन किया गया, जिसने 500 से ज्यादा पन्नों की चार्जशीट दाखिल की थी| तीनों दोषियों को कितनी सजा हुई? कोर्ट ने पुलकित आर्य पर धारा 302 आईपीसी में कठोर आजीवन कारावास के साथ-साथ 50000 रुपये का जुर्माना भी लगाया है। इसके अलावा धारा 201 आईपीसी में 5 वर्ष कठोर कारावास के साथ 10000 रुपये जुर्माना, धारा 354 ए आईपीसी में 2 वर्ष का कठोर कारावास और ₹10000 जुर्माना और धारा 3(1)D आईटीपीए एक्ट में 5 वर्ष का कठोर कारावास व ₹2000 जुर्माना की सजा सुनाई है। इस तरह से पुलकित आर्य पर कुल 72000 रुपये का जुर्माना लगाया गया (Ankita Bhandari Hatyakaand)है। वहीं सौरभ भास्कर और अंकित गुप्ता को धारा 302 आईपीसी के तहत आजीवन कठोर कारावास और 50000 रुपये जुर्माना, धारा 201 आईपीसी के तहत 5 वर्ष कठोर कारावास व ₹10000 जुर्माना और 3(1)D आईटीपीए एक्ट में 5 वर्ष का कठोर कारावास व ₹2000 जुर्माना की सजा सुनाई है। इसके अलावा 4 लाख प्रतिकर मृतिका के परिजनों को देना है। नहर से शव मिलने के बाद मचा हड़कंप दरअसल, 18 सितंबर 2022 को उत्तराखंड के पौड़ी जिले में अंकिता भंडारी की हत्या कर दी गई। अंकिता भंडारी यमकेश्वर के वनंत्रा रिजॉर्ट में रिसेप्शनिस्ट के तौर पर काम कर रही थी। अचानक अंकिता भंडारी रिजॉर्ट से लापता हो गई और उसका शव नहर से बरामद हुआ, जिसके बाद हड़कंप मच गया। रिजॉर्ट संचालक पुलकित आर्य ने अपने दो साथियों सौरभ भास्कर और अंकित गुप्ता के साथ मिलकर अंकिता भंडारी की हत्या (Ankita Bhandari Hatyakaand)की। उन्होंने अंकिता भंडारी को नहर में धक्का दे दिया था। फिलहाल इस केस में रिजॉर्ट संचालक पुलकित आर्य और दो अन्य साथी सौरभ भास्कर और अंकित गुप्ता जेल में बंद हैं। अंकिता की हत्या के पीछे क्या थी वजह? जानकारी के मुताबिक अभियोजन पक्ष के अनुसार किसी बात को लेकर अंकिता और पुलकित आर्य में विवाद हो गया था। इस विवाद के बाद रिजॉर्ट संचालक पुलकित आर्य ने सौरभ भास्कर और अंकित गुप्ता के साथ मिलकर अंकिता की हत्या की थी। इस केस में तीनों आरोपियों को 23 सितंबर को गिरफ्तार कर लिया गया। बाद में पूछताछ के दौरान इन्होंने हत्या की बात भी स्वीकार की। तीनों के खिलाफ गैंगस्टर अधिनियम के तहत भी केस दर्ज किया गया। वहीं अंकिता के परिजनों की मांग पर 3 बार सरकारी वकील बदले गए। इस मामले में अंकिता के भाई और उसके पिता को सरकारी नौकरी दी गई। वहीं धामी सरकार ने अंकिता भंडारी के परिवार को ₹25 लाख की आर्थिक मदद भी दी। बता दें कि पुलकित आर्य भाजपा के तत्कालीन नेता विनोद आर्य का पुत्र है। हालांकि मामला सामने आते ही पार्टी ने आर्य को बाहर का रास्ता दिखा दिया था। वहीं घटना के बाद देश के लोगों में आक्रोश व्याप्त हो गया। लोगों ने सड़कों पर उतर कर प्रदर्शन भी किए