नई दिल्ली, 30 अगस्त। Election Expenses : कांग्रेस ने हाल ही में गुजरे लोकसभा चुनाव-2024 में किस लोकसभा प्रत्याशी पर कितनी रकम खर्च की थी। इसका ब्यौरा पार्टी ने चुनाव आयोग को दिया है। कांग्रेस ने चुनाव आयोग को बताया है कि उसने राहुल गांधी को वायनाड और रायबरेली से चुनाव लड़ने के लिए 70-70 लाख रुपए दिए। बता दें कि राहुल गांधी दोनों सीटों से जीत गए थे। हालांकि, उन्होंने अंत में रायबरेली की सीट कायम रखते हुए वायनाड की सीट छोड़ दी। पार्टी ने संसदीय चुनावों में 99 सीटें जीती थीं, जिसमें से दो सीटों से राहुल जीते थे।
एजेंसी के मुताबिक कांग्रेस में पार्टी फंड से सबसे ज्यादा रकम विक्रमादित्य सिंह को (87 लाख रुपए) दी गई। हालांकि, वे हिमाचल प्रदेश की मंडी सीट से बीजेपी कैंडिडेट कंगना रनौत से हार गए। पार्टी की तरफ से चुनाव आयोग को दी गई जानकारी के मुताबिक 70 लाख रुपए पाने वाले दूसरे नेताओं में किशोरी लाल शर्मा भी शामिल हैं, जिन्होंने भाजपा की पूर्व सांसद स्मृति ईरानी को हराया।
70 लाख वाली लिस्ट में के सी वेणुगोपाल (केरल के अलपुझा से) और मणिकम टैगोर (तमिलनाडु के विरुधुनगर से) शामिल हैं। कांग्रेस उम्मीदवार राधाकृष्ण (कर्नाटक के गुलबर्गा से) और विजय इंदर सिंगला (पंजाब के आनंदपुर साहिब से) को भी 70-70 लाख रुपए ही दिए गए। कांग्रेस के सीनियर नेता आनंद शर्मा और दिग्विजय सिंह (दोनों चुनाव हार गए) को क्रमशः 46 लाख और 50 लाख रुपए दिए गए।
चुनाव आयोग की सिफारिश पर बढ़ी खर्च की सीमा
दरअसल, चुनाव प्रचार में उम्मीदवार के खर्च की एक सीमा होती है, लेकिन राजनीतिक दलों के लिए ऐसी कोई सीमा नहीं होती। जनवरी 2022 में चुनाव आयोग की सिफारिश के आधार पर सरकार ने लोकसभा चुनावों के लिए उम्मीदवारों के लिए चुनाव खर्च की सीमा 70 लाख रुपये से बढ़ाकर 95 लाख रुपये और विधानसभा चुनावों के लिए 28 लाख रुपये से बढ़ाकर 40 लाख रुपये कर दी थी।
बड़े और छोटे राज्यों के लिए अलग-अलग सीमा
लोकसभा चुनावों के लिए संशोधित व्यय सीमा बड़े राज्यों के लिए अलग और छोटे राज्यों के लिए अलग है। बता दें कि 2024 के लोकसभा चुनाव सात चरणों में हुए थे और नतीजे 4 जून को घोषित किए गए थे। कांग्रेस ने पिछले महीने लोकसभा चुनाव और अरुणाचल प्रदेश, सिक्किम, ओडिशा और आंध्र प्रदेश विधानसभा चुनावों के लिए अपना ‘आंशिक चुनाव व्यय विवरण’ चुनाव आयोग को सौंपा था। यह विवरण चुनाव लड़ने के लिए पार्टी की तरफ से उम्मीदवारों को दी गई ‘एकमुश्त राशि’ से संबंधित था।