कोरबा, 31 जुलाई। Kawardha Rape Case : छत्तीसगढ़ के कवर्धा में एक पुलिस अधीक्षक कार्यालय में उस वक्त खलबली बच गई जब एक रेप पीड़िता आत्मदाह करने पहुंची। युवती के द्वारा आत्मदाह की बात सुनते ही ऑफिस में सनसनी फैल गई। युवती ने एक युवक पर शादी का झांसा देकर रेप करने का आरोप लगाया है।
बता दें कि युवती ने खुद के साथ हुई घटना को लेकर पिछले सप्ताह रायपुर में पत्रकारवार्ता की थी। इस दौरान युवती ने पाण्डातराई टीआई और कबीरधाम पुलिस पर कई गंभीर आरोप लगाए थे।
यह है पूरा मामला
पीड़िता की शिकायत के मुताबिक, ग्राम मंझोली तहसील पण्डरिया जिला कबीरधाम निवासी अबरार खान पिता शहीद खान से उसका प्रेम संबंध था। 1 जून को अबरार ने फोन किया और 2 जून को सुबह 8.30 बजे ग्राम मंझोली से अपनी स्वीफ्ट डिजायर में बैठकर बिना बताए पचपेड़ी नाका रायपुर स्थित एक लॉज में ले आया। यहां पर दो दिनों तक उसे रखा और उसके साथ जबरदस्ती शारीरिक शोषण करते रहा। विरोध करने पर शादी नहीं करने की धमकी देने लगा।
इस दौरान अबरार खान के परिजनों को जब पता चला कि वो दोनों लॉज में है, तो रिश्तेदार लॉज पहुंचे और पीड़िता से मारपीट करते हुए उसे स्कार्पियो में भरकर रायपुर में छोड़ गए। इस घटना के बाद सुबह लगभग 6 बजे प्रार्थीया बस से अपनी बहन के यहां मुंगेली पहुंची। बहन व परिजनों को पूरे घटनाक्रम की जानकारी दी।
पुलिस पर कार्रवाई नहीं करने का आरोप
पीड़िता और परिजनों ने 5 जून को उसे मंझोली लेकर आये और थाना पाण्डातराई रिपोर्ट दर्ज करवाने पहुंचे। थाना प्रभारी ने शिकायत सुनी और रिपोर्ट लिखने से इंकार कर दिया। साथ ही एक कोरे कागज पर पीड़िता के हस्ताक्षर लेकर उसे थाने से भगा दिया। 6 जून को उक्त घटना की शिकायत एसपी कबीरधाम से लिखित में की। SP के कहने पर 6 जून को थाना प्रभारी पाण्डातराई द्वारा शून्य में अपराध दर्ज कर रायपुर ट्रांसफर किया गया।
पीड़िता ने आरोप लगाया कि थाना प्रभारी ने आरोपी के रिश्तेदारो से मिलीभगत कर अबरार खान के विरूद्ध धारा 376 भादवि का अपराध दर्ज किया गया। लाज में मारपीट करने वालों के विरुद्ध कोई शिकायत दर्ज नहीं की गई। प्रभारी ने धारा 161 के तहत भी अपनी मर्जी से बताये बयान को तोड़-मरोड़ कर दर्ज किया। इस बात की एसडीओपी पण्डारिया से भी शिकायत की, लेकिन उनके दवारा भी कोई संतोष जनक कार्रवाई नहीं की।
घटना के कुछ दिनों बाद अबरार का भाई सहजाद और अन्य पीड़िता के घर के बाहर आये और दबाव बनाने की कोशिश करते हुए गाली-गलौच करने लगे। पीड़िता ने इसका वीडियो बनाकर एसडीओपी पण्डरिया को भेजा, पर कोई कार्रवाई नहीं नहीं हुई। पीड़िता ने ये भी आरोप लगाया कि थाना पाण्डातराई प्रभारी द्वारा चालान में कई जगह प्रार्थीया का फर्जी हस्ताक्षर किया गया। और पीड़िता से बोल कि तुम किसी से बात मत करना मेरे से बात करना, मैं तुम्हारी हेल्प करूंगा, मेरे से पर्सनल में आकर मिलना। मोबाइल में बात नहीं कर सकता इसकी रिकार्डिंग (Kawardha Rape Case) भी उपलब्ध है।