रायपुर, 04 सितंबर। NHM छत्तीसगढ़ के अधिकारियों एवं कर्मचारियों द्वारा 18 अगस्त 2025 से की जा रही अनिश्चितकालीन हड़ताल पर सरकार ने सख्त रुख अपनाया है। हड़ताल के चलते राज्यभर के अस्पतालों में स्वास्थ्य सेवाएं प्रभावित हुईं और मरीजों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ा।
सूत्रों के अनुसार, 13 अगस्त को आयोजित कार्यकारिणी समिति की बैठक में कर्मचारियों की 10 मांगों में से 5 मांगें मानते हुए शासन द्वारा आवश्यक आदेश पहले ही जारी किए जा चुके थे। शेष मांगों पर विचार-विमर्श अभी शासन स्तर पर जारी था। बावजूद इसके, कर्मचारी हड़ताल पर अड़े रहे।
हड़ताल के दौरान कई बार नोटिस जारी कर कर्मचारियों को कार्य पर लौटने के लिए कहा गया। 29 अगस्त को स्वास्थ्य विभाग के सचिव अमित कटारिया ने एक सख्त आदेश जारी कर सभी हड़ताली कर्मचारियों को तत्काल ड्यूटी पर लौटने को कहा था। आदेश में यह भी स्पष्ट था कि अनुपालन न करने की स्थिति में संबंधित कर्मियों की सेवाएं समाप्त की जा सकती हैं।
सरकार ने इस आदेश की अवहेलना को नियम विरुद्ध आचरण करार देते हुए जनहित के विरुद्ध बताया है। शासन का कहना है कि जनसेवा से जुड़ी व्यवस्थाओं में बाधा डालना स्वीकार्य नहीं है और ऐसे कृत्यों को दण्डनीय माना जाएगा।
फलस्वरूप, स्वास्थ्य विभाग ने (NHM) आंदोलन में शामिल 25 अधिकारियों एवं कर्मचारियों की सेवाएं तत्काल प्रभाव से समाप्त करने का आदेश जारी कर दिया है। साथ ही अन्य मामलों पर भी विभागीय जांच एवं अनुशासनात्मक कार्रवाई की प्रक्रिया जारी है।

