चरथावल, 17 मार्च। Punishment For Misdeed 2 Shoes : मुजफ्फरनगर के चरथावल इलाके में होली की शाम पहले से ही घात लगाकर बैठा 60 वर्षीय बुजुर्ग एक लड़की को जबरन उठाकर अपनी ट्यूबवेल के कमरे में ले गया। वहां उसने लड़की के कपड़े फाड़ते हुए जोर-जबरदस्ती कर दुष्कर्म की कोशिश की। पीड़िता के शोर मचाने और किसी तरह वहां से निकलने के बाद गांव में यह खबर आग की तरह फैल गई।
आरोपी को जूते मारने वाला वीडियो हुआ वायरल
उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर में रंगों के पर्व होली की शाम एक ऐसी घटना ने पूरे गांव को हिलाकर रख दिया। इस घटना ने न सिर्फ कानून-व्यवस्था की पोल खोल दी, बल्कि सामाजिक ताने-बाने को भी शर्मसार कर दिया।
एक 60 साल के बुजुर्ग किसान पर गांव की ही 26 साल की युवती ने छेड़खानी और जोर-जबरदस्ती का सनसनीखेज आरोप लगाया। मामला इतना बिगड़ गया कि पंचायत से लेकर थाने तक हंगामा मच (Punishment For Misdeed 2 Shoes)गया। आरोपी को भरी सभा में ‘दो जूते’ मारने की सजा भी सुनाई गई, जिसका वीडियो अब सामने आ चुका है।
क्या है पूरा मामला?
जानकारी के मुताबिक, यह शर्मनाक घटना 15 मार्च 2025 की शाम को मुजफ्फरनगर के चरथावल थाना इलाके हुई। उपले बनाने के लिए घर से गोबर लेने जा रही युवती ने आरोप लगाया कि पहले से ही घात लगाकर बैठा 60 वर्षीय बुजुर्ग किसान उसे जबरन उठाकर अपनी ट्यूबवेल के कमरे में ले गया।
वहां उसने युवती के कपड़े फाड़ते हुए जोर-जबरदस्ती कर दुष्कर्म की कोशिश (Punishment For Misdeed 2 Shoes)की। पीड़िता के शोर मचाने और किसी तरह वहां से निकलने के बाद गांव में यह खबर आग की तरह फैल गई। देखते ही देखते गांव में तनाव की स्थिति बन गई।
मामले को ‘रफा-दफा’ करने के लिए बुलाई पंचायत
मामले को ‘रफा-दफा’ करने के लिए उसी रात गांव में पंचायत बुलाई गई। लेकिन पंचायत में पहुंची भीड़ इतनी आक्रोशित थी कि उसने अपना आपा खो दिया। गुस्साए लोगों ने बुजुर्ग आरोपी पर हमला बोल दिया और उसकी पिटाई की कोशिश की। हालात बिगड़ते देख पंचों ने बीच-बचाव किया और भरी सभा में आरोपी को ‘दो जूते’ मारने का फैसला सुनाया। पंचायत में ही आरोपी को जूते मारे गए, जिसका लाइव वीडियो अब सार्वजनिक हो गया है। हालांकि यह सजा भी पीड़ित पक्ष को संतुष्ट नहीं कर सकी।
आरोपी के पक्ष में उतरे किसान यूनियन के कार्यकर्ता
पंचायत के फैसले से असंतुष्ट पीड़िता और उसके परिजनों ने चरथावल थाने पहुंचकर आरोपी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया। 16 मार्च की दोपहर बाद पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया। लेकिन जैसे ही यह खबर आरोपी के समर्थकों तक पहुंची, भारतीय किसान यूनियन के कार्यकर्ता उसके पक्ष में उतर आए।
यूनियन ने छेड़खानी के आरोप को झूठा और बेबुनियाद बताते हुए दावा किया कि खेत में घुसने की रोक-टोक पर युवती ने मनगढ़ंत आरोप लगाए हैं। इसके बाद कार्यकर्ताओं ने थाने के बाहर धरना-प्रदर्शन शुरू कर दिया।
दो खेमों में बंटा पूरा गांव
इस घटना ने पूरे गांव को दो खेमों में बांट दिया है। एक तरफ पीड़िता के समर्थक सख्त सजा की मांग कर रहे हैं, तो दूसरी तरफ आरोपी के समर्थक इसे साजिश बता रहे हैं। पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है, लेकिन अभी तक कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है। सामने आए वीडियो में पंचायत में जूते मारने का दृश्य साफ दिखाई दे रहा है, जिसके बाद पुलिस पर भी सवाल उठ रहे हैं कि आखिर पंचायत में कानून हाथ में क्यों लिया गया। जिले के इस छोटे से गांव में होली की खुशियां उस वक्त आक्रोश में बदल गईं, जब यह घटना सामने आई।
पंचायत का फैसला हो या थाने में दर्ज मुकदमा, मामला अब चर्चा का विषय बन चुका है। लोग सवाल उठा रहे हैं कि क्या ‘दो जूते’ की सजा किसी की आबरू पर हाथ डालने की सही कीमत है? फिलहाल, पुलिस की जांच और कोर्ट का फैसला ही इस सनसनीखेज मामले में सच का पता लगा सकेगा।