कासगंज, 09 अक्टूबर। Ramlila : यूपी के कासगंज में एक दलित व्यक्ति ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। आरोप है कि मृतक रामलीला देखने गया था, लेकिन वहां पर मौजूद पुलिसकर्मियों ने उसे कुर्सी पर बैठने को लेकर अपमानित किया। इससे आहत उसने मौत को गले लगा लिया। परिजनों ने आरोपी पुलिसकर्मियों के खिलाफ थाने में तहरीर दी है। अब पुलिस इस पूरे मामले की जांच कर रही है।
दरअसल, कोतवाली सोरों क्षेत्र के सलेमपुर वीवी गांव में एक दलित व्यक्ति ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। दलित की आत्महत्या के पीछे की वजह पुलिस के द्वारा उसके साथ मारपीट और बेइज्जती करना बताया जा रहा है। मृतक की पत्नी ने रामलीला प्रांगण में कुर्सी पर बैठने को लेकर दो पुलिसकर्मियों पर पति के साथ मारपीट करने का आरोप लगाया है। पत्नी ने कार्रवाई के लिए सोरों थाने में पुलिसकर्मियों के खिलाफ तहरीर दी है।
परिजनों ने पुलिसकर्मियों पर लगाया आरोप
मृतक रमेश चंद के दामाद मनोज कुमार ने कहा कि वह रात को 9 बजे रामलीला देखने गए थे। वहां पर कुर्सियां पड़ी थी तो वह कुर्सी पर बैठ गए। तभी हेड कांस्टेबल बहादुर सिंह और एक सिपाही विक्रम सिंह आए और उन्हें खींचकर ले गए। मारपीट और गाली गलौज भी की। जिससे उनको (रमेश चंद) काफी ठेस पहुंची। इसके बाद वह घर आए और रोते हुए पूरी बात बताई, फिर फांसी लगा ली।
वहीं, मामले में कासगंज के एएसपी राजेश कुमार भारती ने बताया कि कल रामलीला का मंचन हो रहा था। इस मंचन के दौरान गांव के ही रमेश चंद जो उसे समय थोड़ा नशे में थे मंच पर बैठ गए। जिसपर आयोजकों और दर्शकों ने उन्हें हटने के लिए कहा। बाद में पुलिसकर्मियों ने उन्हें वहां से हटा दिया और वह रात को घर भी चले गए।
आज सूचना प्राप्त हुई कि रमेश चंद अपने घर में रस्सी से कुंडे से लटके हुए मिले। उन्होंने फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली।खबर मिलते ही SHO, सीओ सिटी आदि मौके पर पहुंच गए। फिलहाल, परिजनों से वार्तालाप करके शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है। आगे की जांच-पड़ताल की जा रही है।