Author name: Ek Janta Ki Awaaz

Courtesy Meet: A delegation of Post Matric Scheduled Caste Hostel paid a courtesy visit to Chief Minister Vishnu Dev Sai
Chhattisgarh

Courtesy Meet : मुख्यमंत्री विष्णु देव साय से पोस्ट मैट्रिक अनुसूचित जाति छात्रावास के प्रतिनिधि मंडल ने की सौजन्य भेंट

रायपुर, 09 दिसंबर। Courtesy Meet : मुख्यमंत्री विष्णु देव साय से विगत दिवस राजधानी रायपुर स्थित मुख्यमंत्री निवास कार्यालय में शासकीय आदर्श पोस्ट मैट्रिक अनुसूचित जाति बालक छात्रावास, पेंशनबाड़ा रायपुर के प्रतिनिधिमंडल ने सौजन्य भेंट की। इस अवसर पर कौशल विकास मंत्री खुशवंत साहेब उपस्थित थे। प्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री साय को संत शिरोमणि बाबा गुरु घासीदास जी की 269वीं जयंती के उपलक्ष्य में आयोजित गुरु पर्व कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि शामिल होने का आमंत्रण दिया। प्रतिनिधियों ने बताया कि इस अवसर पर राजधानी रायपुर के विभिन्न छात्रावासों—कालाबाड़ी कन्या छात्रावास, शंकर नगर कन्या छात्रावास, आमापारा छात्रावास, डी.डी.यू. छात्रावास, कबीर छात्रावास, प्रयास छात्रावास, देवपुरी छात्रावास सहित अनेक छात्रावासों के छात्र-छात्राएं बड़ी संख्या में सहभागिता करेंगे। मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने आमंत्रण को सहर्ष स्वीकार करते हुए कार्यक्रम की सराहना की। उन्होंने कहा कि गुरु घासीदास जी के विचार सामाजिक सद्भाव, समरसता और मानव-सेवा की प्रेरणा देते हैं। उन्होंने इस प्रकार के आयोजनों को छात्र-छात्राओं के सर्वांगीण विकास एवं मूल्य शिक्षा के लिए अत्यंत प्रेरणादायी बताया। प्रतिनिधिमंडल में छात्रावास के पदाधिकारी, शिक्षकगण एवं अन्य सदस्य उपस्थित थे।

INFLIBNET Services: A step towards digital higher education in Chhattisgarh... Integrated implementation of INFLIBNET services started across the state.
Chhattisgarh

INFLIBNET Services : छत्तीसगढ़ में उच्च शिक्षा डिजिटल की ओर बड़ता कदम….राज्यभर में INFLIBNET सेवाओं के एकीकृत क्रियान्वयन की शुरुआत

रायपुर, 09 दिसंबर। INFLIBNET Services : छत्तीसगढ़ में उच्च शिक्षा के डिजिटलीकरण को नए युग में ले जाने की दिशा में बड़ा कदम उठाते हुए उच्च शिक्षा विभाग ने  INFLIBNET (Information and Library Network)  सेवाओं के राज्यव्यापी विस्तार की प्रक्रिया को गति दे दी है। UGC और शिक्षा मंत्रालय, भारत सरकार के अंतर्गत स्थापित इसका अंतर-विश्वविद्यालय केंद्र देशभर में लाइब्रेरी ऑटोमेशन, डिजिटल संसाधन, प्लेगरिज़्म डिटेक्शन, शोध प्रबंधन, ई-कंटेंट और अकादमिक प्रोफाइलिंग जैसी महत्वपूर्ण सेवाएँ लगभग निःशुल्क उपलब्ध कराता है। इन सेवाओं के लागू होने से छत्तीसगढ़ के सार्वजनिक विश्वविद्यालयों में शिक्षण, अधिगम और शोध कार्यों को अत्याधुनिक डिजिटल आधार मिलेगा। क्लाउड-आधारित मॉडल के कारण विश्वविद्यालयों का आईटी खर्च भी कम होगा। यह पहल राज्य में उच्च शिक्षा के डिजिटल रूपांतरण की दिशा में सबसे महत्वपूर्ण और ऐतिहासिक प्रयासों में से एक मानी जा रही है। PRSU में आयोजित हुई ONOS नोडल अधिकारियों की कार्यशाला पं. रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय रायपुर के सभागार में  आज राज्य के सभी 09 शासकीय विश्वविद्यालयों के ONOS (One Nation One Subscription) नोडल अधिकारियों की तकनीकी कार्यशाला आयोजित हुई।इस कार्यशाला में INFLIBNET की विभिन्न सेवाओं, डिजिटल शोध उपकरणों, लाइब्रेरी ऑटोमेशन, एकीकृत डैशबोर्ड, चरणबद्ध प्रशिक्षण मॉडल एवं हेल्पडेस्क की कार्यप्रणाली पर विस्तृत प्रशिक्षण दिया गया। प्रशिक्षित नोडल अधिकारी आगे महाविद्यालयों और विश्वविद्यालयों को इन सेवाओं के प्रभावी उपयोग के लिए मार्गदर्शन देंगे। कार्यशाला के बाद हुआ राज्य का पहला त्रिपक्षीय MoU बनेगा डिजिटल शिक्षा का इतिहास कार्यशाला उपरांत उच्च शिक्षा विभाग (DHE), INFLIBNET और छत्तीसगढ़ के सभी विश्वविद्यालयों के बीच ऐतिहासिक त्रिपक्षीय MoU साइन किया गया। यह MoU राज्य की उच्च शिक्षा प्रणाली को एकीकृत डिजिटल ढांचे से जोड़ने का आधार बनेगा। इस महत्वपूर्ण समारोह में सचिव उच्च शिक्षा विभाग डॉ. एस. भारतीदासन ने कहा कि  INFLIBNET सेवाओं का राज्यव्यापी एकीकरण छत्तीसगढ़ की उच्च शिक्षा प्रणाली को तकनीकी रूप से सशक्त और भविष्य-सिद्ध बनाने की दिशा में ऐतिहासिक कदम है। यह पहल छात्रों और शिक्षकों को देशभर के शीर्ष डिजिटल संसाधनों तक समान पहुंच प्रदान करेगी। इससे शोध का स्तर बढ़ेगा, पारदर्शिता आएगी और विश्वविद्यालय एक समन्वित डिजिटल फ्रेमवर्क में काम कर सकेंगे। त्रिपक्षीय MoU छत्तीसगढ़ के विश्वविद्यालयों को एकीकृत डिजिटल इकोसिस्टम से जोड़ने की बड़ी शुरुआत है।  INFLIBNET की सेवा से चरणबद्ध तरीके से प्रशिक्षण, इम्प्लीमेंटेशन और मॉनिटरिंग किया जा सकेगा  INFLIBNET की सेवाएँ लाइब्रेरी, शोध और अकादमिक प्रबंधन में उल्लेखनीय सुधार लाएँगी। आने वाले महीनों में हम सभी संस्थानों में चरणबद्ध तरीके से प्रशिक्षण, इम्प्लीमेंटेशन और मॉनिटरिंग सुनिश्चित करेंगे, ताकि इसका अधिकतम लाभ छात्रों और शिक्षकों तक पहुँचे। इस अवसर पर उच्च शिक्षा आयुक्त डॉ. संतोष कुमार देवांगन, डायरेक्टर इन्फ्लिबनेट प्रोफेसर देविका पी. मडाली, राज्य के सभी विश्वविद्यालयों के कुलसचिव, पं.रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार श्री शैलेन्द्र पटेल तथा विभिन्न महाविद्यालयों के प्रोफेसर और छात्र उपस्थित थे। छात्रों-शिक्षकों को मिलेगा व्यापक लाभ INFLIBNET की प्रमुख सेवाएँ छत्तीसगढ़ के छात्रों, शिक्षकों और शोधकर्ताओं को व्यापक रूप से लाभान्वित करेंगी। इनमें SOULसॉफ्टवेयर से लाइब्रेरी ऑटोमेशन, शोधगंगा के माध्यम से थीसिस और शोध कार्य का डिजिटलीकरण, शोधशुद्धि द्वारा प्लेगरिज़्म जांच, शोधचक्र से शोध गतिविधियों का कुल प्रबंधन, IIRINS के माध्यम से शिक्षकों और शोधकर्ताओं की डिजिटल अकादमिक प्रोफाइलिंग, रिसोर्स शेयरिंग से संसाधनों के दोहराव में कमी एवं सहयोग में वृद्धि और लगातार क्षमता निर्माण कार्यक्रम और प्रशिक्षण शामिल हैं। यह पहल राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) 2020 के डिजिटल शिक्षा एवं शोध सुदृढ़ीकरण के उद्देश्यों के साथ पूर्णतः सामंजस्य रखती है। छत्तीसगढ़ में INFLIBNET सेवाओं का यह एकीकृत क्रियान्वयन उच्च शिक्षा में डिजिटल क्रांति का नया अध्याय लिखने जा रहा है।

Strict Action: District administration takes strict action against illegal mining and transportation, 5 vehicles seized
Chhattisgarh, Crime

Strict Action : अवैध खनन और परिवहन पर जिला प्रशासन की सख्त कार्रवाई, 5 वाहन जब्त

रायपुर, 09 दिसंबर। Strict Action : जांजगीर-चांपा जिले में अवैध खनिज उत्खनन, परिवहन और भंडारण के खिलाफ जिला प्रशासन ने कड़ी कार्रवाई की है। कलेक्टर के निर्देशन में खनिज विभाग और उड़नदस्ता दल ने बम्हनीडीह, पुछेली, बिर्रा, कनस्दा, हथनेवरा और पीथमपुर क्षेत्रों में औचक निरीक्षण अभियान चलाया। अभियान के दौरान अवैध परिवहन में संलिप्त पाँच वाहन—ग्राम पुछेली से एक ट्रैक्टर, पीथमपुर से एक हाईवा, कनस्दा से एक ट्रैक्टर तथा बम्हनीडीह क्षेत्र से दो हाईवा—जप्त किए गए। सभी वाहनों को पुलिस रक्षित केंद्रों और संबंधित थानों में सुरक्षा के लिए रखा गया है। जिला खनिज अधिकारी अनिल कुमार साहू ने जानकारी दी कि जिले में अब तक अवैध गतिविधियों के विरुद्ध कुल 76 प्रकरण दर्ज किए गए हैं। इनमें 66 अवैध परिवहन, 6 अवैध उत्खनन और 4 अवैध भंडारण के मामले शामिल हैं। इन मामलों में कुल 24,65,550 रुपये की शास्ति राशि वसूलकर खनिज मद में जमा की गई है। अवैध खनन में शामिल व्यक्तियों के विरुद्ध खनन एवं खनिज (विकास एवं विनियमन) अधिनियम, 1957 की धारा 21 से 23(ख) के तहत कड़ी कार्रवाई की जाएगी। जिला खनिज अधिकारी ने बताया कि जब्त वाहनों के चालकों के ड्राइविंग लाइसेंस निरस्त करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। पुनरावृत्ति होने पर संबंधित मामलों में न्यायालयीन परिवाद दर्ज किए जाएंगे। कलेक्टर के निर्देश पर जिले में अवैध खनन रोकथाम के लिए खनिज अमला और जिला स्तरीय टास्क फोर्स द्वारा लगातार गश्त व जांच की जा रही है। प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि अवैध खनन किसी भी परिस्थिति में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।

Employment Day: The picture changed with Employment Day, MNREGA information in 107 Panchayats is now on QR code, Employment Day is on 7th of every month in Chhuikhadan, initiative to increase income from livelihood ponds
Chhattisgarh, Education

Employment Day : रोजगार दिवस से बदली तस्वीर, 107 पंचायतों में मनरेगा जानकारी अब QR कोड पर, छुईखदान में हर माह 07 तारीख को रोजगार दिवस, आजीविका डबरी से आय बढ़ाने की पहल

रायपुर , 09 दिसम्बर। Employment Day : खैरागढ़ जिले के छुईखदान विकासखंड की सभी 107 ग्राम पंचायतों में पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के निर्देशानुसार प्रत्येक माह की 07 तारीख को मनरेगा आधारित रोजगार दिवस का आयोजन किया जा रहा है। वनांचल से मैदानी पंचायतों तक आयोजित हो रहे इन शिविरों में मनरेगा से जुड़े दिशा-निर्देशों, प्रक्रियाओं और अधिकारों की विस्तृत जानकारी ग्रामीणों तथा जॉब कार्डधारियों को दी जा रही है। रोजगार सहायक मौके पर ही मनरेगा में संधारित सात रजिस्टर व वर्क/केस फाइल प्रस्तुत करते हैं, साथ ही जॉब कार्ड प्रविष्टियों को अद्यतन कर यह सुनिश्चित किया जाता है कि प्रत्येक श्रमिक तक तथ्यात्मक एवं पारदर्शी जानकारी पहुंचे। ग्रामीणों को नए परिवारों का पंजीयन, जॉब कार्ड में सदस्यों के नाम जोड़ने, अपूर्ण आवासों की पूर्णता, मातृत्व भत्ता, क्षतिपूर्ति सहित विभिन्न लाभों के बारे में भी स्पष्ट रूप से बताया जा रहा है। इस वर्ष रोजगार दिवस की विशेष पहल के रूप में QR कोड आधारित सूचना प्रणाली को जोड़ा गया है। अब कोई भी व्यक्ति अपने मोबाइल से QR कोड स्कैन कर मनरेगा योजना से संबंधित संपूर्ण जानकारी—जैसे पिछले वर्षों के श्रमिक बजट, स्वीकृत कार्य, लागत, व्यय और प्रगति—एक ही स्थान पर देख सकता है। यह व्यवस्था न केवल जानकारी को सुलभ बना रही है, बल्कि योजना क्रियान्वयन में पारदर्शिता भी दृढ़ कर रही है। रोजगार दिवस के माध्यम से ग्रामीणों को केवल जानकारी ही नहीं दी जा रही, बल्कि उन्हें आजीविका उन्नयन की दिशा में भी प्रेरित किया जा रहा है। प्रोजेक्ट उन्नति 2.0 के तहत राज मिस्त्री सहित तकनीकी प्रशिक्षण प्रदान किए जा रहे हैं ताकि ग्रामीण आत्मनिर्भर बनें और मनरेगा श्रमिक से कुशल श्रमिक बनने की दिशा में आगे बढ़ सकें। इसके साथ ही बड़ी संख्या में आजीविका डबरी निर्माण का लक्ष्य रखा गया है, जिससे किसान मछली पालन और पूरक कृषि गतिविधियों से अतिरिक्त आय अर्जित कर सकें। वित्तीय वर्ष 2026-27 के लिए श्रमिक बजट का निर्माण युक्तधारा के माध्यम से किया जा चुका है। परिसंपत्तियों के जियो टैगिंग कार्य को अब जियोफेंसिंग तकनीक के जरिए लागू किया जाएगा, साथ ही e-KYC के महत्व की विस्तृत जानकारी भी ग्रामीणों को दी गई है। नियमित रूप से आयोजित हो रहा यह रोजगार दिवस ग्रामीणों की भागीदारी बढ़ाने, उन्हें योजनाओं से सीधे जोड़ने और सतत आर्थिक मजबूती की दिशा में एक प्रभावी मॉडल के रूप में उभर रहा है।

PM Janman Yojana: The PM Janman Yojana has transformed life, giving Ratiram of the remote village of Kurra a permanent home of his dreams, taking steps towards respect and a secure life.
Chhattisgarh

PM Janman : पीएम जनमन योजना ने बदली जिंदगी की तस्वीर, सुदूर ग्राम कुर्रा के रतिराम को मिला सपनों का पक्का आशियाना, सम्मान और सुरक्षित जीवन की ओर बढ़ते कदम

रायपुर, 08 दिसम्बर। PM Janman : किसी भी सरकारी योजना का वास्तविक महत्व तभी सिद्ध होता है, जब उसका लाभ जमीनी स्तर पर आम नागरिक के जीवन में सकारात्मक और स्थायी परिवर्तन लाए। ऐसी ही एक सशक्त योजना है प्रधानमंत्री जनजाति आदिवासी न्याय महाअभियान (पीएम-जनमन), जिसका प्रभाव रायगढ़ जिले में स्पष्ट रूप से देखने को मिल रहा है। इस योजना के अंतर्गत लैलूंगा विकासखंड के सुदूर ग्राम कुर्रा के निवासी श्री रतिराम बिरहोर को उनके जीवन का सबसे बड़ा सपना-पक्का और सुरक्षित आवास-साकार हुआ। जीवन में स्थायित्व, आत्मविश्वास और सम्मान भी लेकर आया पीएम-जनमन वर्षों तक कच्चे मकान में रहकर बरसात, ठंड और जहरीले जीव-जंतुओं के खतरे के बीच जीवन-यापन करने वाले रतिराम और उनका परिवार जब पीएम जनमन योजना के तहत स्वीकृत आवास में प्रवेश किया, तो वह क्षण उनके लिए अविस्मरणीय बन गया। आवास स्वीकृति मिलने के बाद निर्माण कार्य प्रारंभ हुआ और निर्धारित समय में पूर्ण भी हुआ। नया पक्का घर न केवल उन्हें सुरक्षा प्रदान कर रहा है, बल्कि उनके जीवन में स्थायित्व, आत्मविश्वास और सम्मान भी लेकर आया है। जनजातीय समूहों के सर्वांगीण विकास के लिए एक महत्त्वाकांक्षी मिशन रतिराम का कहना है कि पहले जिस घर में रहना मजबूरी था, वहीं अब पक्के मकान में रहना गर्व की अनुभूति देता है। उल्लेखनीय है कि पीएम-जनमन योजना, जिसकी शुरुआत भारत सरकार द्वारा वर्ष 2023 में की गई, विशेष रूप से विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूहों के सर्वांगीण विकास के लिए एक महत्त्वाकांक्षी मिशन है। इस अभियान का उद्देश्य आवास, शिक्षा, स्वास्थ्य, स्वच्छ पेयजल, बिजली, आजीविका और संपर्क जैसी बुनियादी सुविधाओं को अंतिम व्यक्ति तक पहुँचाना है। गौरतलब है कि पीएम जनमन योजना आज केवल एक सरकारी कार्यक्रम नहीं, बल्कि आदिवासी समुदायों के लिए न्याय, समानता और आत्मसम्मान का मजबूत आधार बन चुकी है। ग्राम कुर्रा के रतिराम की कहानी इस बात का सशक्त उदाहरण है कि जब योजनाएं सही ढंग से लागू होती हैं, तो वे लोगों की तस्वीर ही नहीं, तकदीर भी बदल देती हैं।

PMDDKY: Under the Pradhan Mantri Dhan-Dhanya Krishi Yojana, special agriculture camps will be organised. The Agriculture Department will organise awareness camps to expand the Rabi area and increase pulses and oilseeds productivity.
Chhattisgarh

PMDDKY : प्रधानमंत्री धन-धान्य कृषि योजना के तहत लगेगा विशेष कृषि शिविर, रबी क्षेत्र विस्तार एवं दलहन-तिलहन उत्पादकता बढ़ाने कृषि विभाग करेगा जागरूकता शिविरों का आयोजन

रायपुर, 08 दिसंबर। PMDDKY : प्रधानमंत्री धन.धान्य कृषि योजना (PMDDKY) 2025.26 से शुरू की गई एक सरकारी पहल है, जिसका लक्ष्य कम प्रदर्शन वाले कृषि जिलों में किसानों की आय और कृषि उत्पादकता बढ़ाना है, जिसके लिए 11 मंत्रालयों की 36 योजनाओं को समन्वित किया गया है। इसमें सिंचाई, भंडारण, आसान ऋण तथा फसल विविधीकरण पर ध्यान केंद्रित किया गया हैए, ताकि किसानों को आत्मनिर्भर बनाया जा सके और देश को दालों सहित विभिन्न फसलों में आत्मनिर्भर बनाने के मिशन का समर्थन किया जा सके। प्रधानमंत्री धन धान्य कृषि योजना के अंतर्गत कृषकों को रबी फसल की आधुनिक तकनीक से अवगत कराने तथा मत्स्यपालन, पशुपालन सहित अन्य कृषि-संबद्ध व्यवसायों की ओर प्रेरित करने के उद्देश्य से प्रत्येक समिति में विशेष प्रशिक्षण शिविरों का आयोजन किया जा रहा है। किसानों आधुनिक खेती से जोडकर लाभान्वित करना है शिविरों में जशपुर जिले के ऐसे उत्कृष्ट एवं प्रगतिशील कृषकों को प्रशिक्षक के रूप में जोड़ा गया है, जो आधुनिक तकनीकों का उपयोग कर खेती में अधिक उत्पादन एवं बेहतर आय अर्जित कर रहे हैं। ये प्रशिक्षक कृषक अपने अनुभव, कठिनाईयों तथा विभागीय योजनाओं से प्राप्त लाभों को अन्य कृषकों के साथ साझा करेंगे, जिससे अधिक से अधिक किसान आधुनिक खेती अपनाकर लाभान्वित हो सकें। साथ ही कृषि एवं संबद्ध विभाग के अधिकारी किसानों को विभिन्न सरकारी योजनाओं, अनुदान प्राप्ति की प्रक्रिया, तथा वैज्ञानिक पद्धति से खेती करने के मार्गदर्शन की जानकारी प्रदान करेंगे। इन शिविरों में कृषि विज्ञान केन्द्र एवं कृषि महाविद्यालय के वैज्ञानिक भी शामिल रहेंगे, जो आधुनिक कृषि तकनीकों का प्रचार-प्रसार कर किसानों को उन्नत खेती अपनाने के लिए प्रोत्साहित करेंगे। दलहन-तिलहन उत्पादक कृषकों को समर्थन मूल्य पर उपज बेचने की सुविधा* जशपुर जिले में कुल 09 आदिम जाति सेवा सहकारी समितियों का पंजीयन किया गया है, जहाँ दलहन-तिलहन फसलें उगाने वाले कृषक अपनी उड़द, मूंग एवं मूंगफली को बाजार मूल्य कम होने की स्थिति में न्यूनतम समर्थन मूल्य पर विक्रय कर सकते हैं। कृषकों के हित में प्रशासन ने अपील की है कि वे एकीकृत किसान पोर्टल पर पंजीयन अवश्य कराएँ। पंजीयन कराने में किसी भी प्रकार की सहायता हेतु संबंधित ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी से संपर्क किया जा सकता है। किसान बढ़ा सकते हैं अपनी आय कृषक उत्पादक संगठन से जुड़कर शिविर के दौरान जिले के जशपुर जिले के प्रत्येक विकासखंड के कृषक उत्पादक संगठन के प्रतिनिधि मौजूद रहेंगे। जिन कृषकों ने अभी तक किसी कृषक उत्पादक संगठन की सदस्यता नहीं ली है, वे शिविर में उपस्थित प्रतिनिधियों से विस्तृत जानकारी प्राप्त कर सदस्यता हेतु आवेदन कर सकते हैं। कृषक उत्पादक संगठन से जुड़कर किसान न केवल आधुनिक कृषि तकनीक, समूह विपणन और सामूहिक क्रय-बिक्री का लाभ उठा सकते हैं, बल्कि अपनी आय दोगुनी करने की दिशा में भी महत्वपूर्ण कदम बढ़ा सकते हैं।

CM Announcement: ₹2.62 crore (26.2 million rupees) donated for the construction of a naturopathy building. Chief Minister Vishnudev Sai presented a significant gift to Kunkuri town in the health sector.
Chhattisgarh

CM Announcement : नेचुरोपैथी भवन निर्माण के लिए दी 2 करोड़ 62 लाख रूपये की सौगात, कुनकुरी नगर को स्वास्थ्य के क्षेत्र में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने दिया बड़ा तोहफ़ा

रायपुर, 08 दिसंबर। CM Announcement : कई प्राकृतिक चिकित्सा केंद्र, योग केंद्र और वेलनेस हब खुद को नेचुरोपैथी कहते हैं। जो प्राकृतिक चिकित्सा शिक्षा और अनुसंधान करता है और बापू भवन इसका ऐतिहासिक घर है, जिसे गांधीजी ने अपनाया था। खासकर छत्तीसगढ़ जैसे राज्यों में प्राकृतिक चिकित्सा केंद्र का उद्देश्य प्राकृतिक उपचार, योग, आहार, मिट्टी स्नान और हर्बल दवाओं के माध्यम से समग्र स्वास्थ्य प्रदान करना है। जशपुर जिले के कुनकुरी नगर की स्वास्थ्य सुविधाओं को सुदृढ़ करते हुए मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने नेचुरोपैथी भवन निर्माण के लिए 2 करोड़ 62 लाख रुपए की मंजूरी प्रदान की है। निर्माण कार्य के लिए टेंडर प्रक्रिया प्रारंभ हो गई है। भवन तैयार हो जाने के बाद कुनकुरी नगरवासियों को प्राकृतिक चिकित्सा की अत्याधुनिक सुविधा अपने ही नगर में उपलब्ध होगी। यह भवन न सिर्फ लोगों को आयुर्वेद, योग एवं प्राकृतिक चिकित्सा की ओर प्रोत्साहित करेगा, बल्कि ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों से आने वाले मरीजों को उपचार के लिए बड़ी राहत भी देगा। अब बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं के लिए दूर दराज जाने की आवश्यकता नहीं होगी। नगरवासियों ने इस दूरदर्शी निर्णय के लिए मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के प्रति आभार जताते हुए कहा कि यह सुविधा स्वास्थ्य के क्षेत्र में एक नई दिशा और नई उम्मीद लेकर आएगी। स्वास्थ्य के क्षेत्र में नई ऊंचाई को छूता जशपुर मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में जशपुर जिले को स्वास्थ्य के क्षेत्र में कई सौगातें मिल चुकी है। मेडिकल कॉलेज के लिए बड़ा कदम उठातेे हुए वित्त विभाग से 359 करोड़ की सैद्धांतिक सहमति मिल चुकी है । इसी प्रकार 220 विस्तर अस्पताल के लिए 32 करोड़ की मंजूरी, नर्सिंग महाविद्यालय भवन के 8 करोड़ की मंजूरी, फिजियोथेरेपी महाविद्यालय के 14 करोड़ की मंजूरी, कल्याण आश्रम अत्याधुनिक चिकित्सालय भवन के लिए 35 करोड़ की मंजूरी, ग़िनाबहर में मातृत्व शिशु चिकित्सालय भवन निर्माण के 8 करोड़ की मंजूरी सहित कई सौगातें दी गई है, जो जिले वासियों को स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया कराने के लिए वरदान साबित होंगी।

Online Photography Contest: Online photography competition in the silver jubilee year of Chhattisgarh Tourism Board
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Online Photography Contest : छत्तीसगढ़ पर्यटन बोर्ड की रजत जयंती वर्ष में ऑनलाइन फोटोग्राफी प्रतियोगिता

रायपुर, 07 दिसंबर। Online Photography Contest : छत्तीसगढ़ पर्यटन बोर्ड द्वारा राज्य स्थापना के रजत जयंती वर्ष  के उपलक्ष्य में 08 दिसंबर से 21 दिसंबर 2025 तक विशेष गतिविधियों और प्रतियोगिताओं की श्रृंखला आयोजित की जा रही है। इसी क्रम में प्रदेश के विभिन्न पर्यटन केंद्रों एवं रिजॉर्ट्स के साथ‑साथ पर्यटन बोर्ड के प्रधान कार्यालय रायपुर में भी विविध रचनात्मक कार्यक्रम प्रस्तावित हैं, जिनका उद्देश्य छत्तीसगढ़ पर्यटन को नए आयाम देना है। इसी कड़ी को आगे बढ़ाते हुए पर्यटन बोर्ड ने 08 दिसंबर से 15 दिसंबर 2025 तक ऑनलाइन फोटोग्राफी प्रतियोगिता आयोजित करने का निर्णय लिया है। प्रतियोगिता का उद्देश्य छत्तीसगढ़ के प्राकृतिक सौंदर्य, सांस्कृतिक विरासत और पर्यटन स्थलों को नई दृष्टि से सामने लाना तथा युवा और शौकिया फोटोग्राफरों को अपनी प्रतिभा दिखाने के लिए सशक्त मंच प्रदान करना है। प्रतियोगिता में भारत के किसी भी हिस्से से 18 वर्ष या उससे अधिक आयु के प्रतिभागी ऑनलाइन माध्यम से अपनी प्रविष्टि भेज सकेंगे। प्रतिभागियों को छत्तीसगढ़ थीम पर आधारित मौलिक फोटोग्राफ निर्धारित ईमेल प्ज/अपेपजबहण्पद या ऑनलाइन पोर्टल के जरिए अपलोड करनी होगी, साथ ही अपना नाम, आयु, मोबाइल नंबर, पता और फोटो का संक्षिप्त विवरण दर्ज करना अनिवार्य रहेगा।  प्राप्त प्रविष्टियों का मूल्यांकन रचनात्मकता, तकनीकी गुणवत्ता, विषय के अनुरूपता और पर्यटन मूल्य जैसे मानदंडों के आधार पर विशेषज्ञ ज्यूरी द्वारा किया जाएगा। विजेताओं की घोषणा 19 दिसंबर को की जाएगी।  प्रथम पुरस्कार के रूप में हिल इको रिसॉर्ट में 02 व्यक्तियों के लिए 02 रात 03 दिन ठहरने की व्यवस्था, द्वितीय पुरस्कार के रूप में सोनभद्र टूरिस्ट रिसॉर्ट आमाडोब में 02 व्यक्तियों के लिए 01 रात 02 दिन ठहरने की सुविधा तथा तृतीय पुरस्कार के रूप में 1500 रुपये नकद राशि प्रदान की जाएगी, साथ ही विजेताओं को प्रमाणपत्र भी दिए जाएंगे। उत्कृष्ट फोटोग्राफ को भविष्य में छत्तीसगढ़ पर्यटन बोर्ड की प्रचार सामग्री और डिजिटल प्लेटफॉर्म पर स्थान देने पर भी विचार किया जाएगा, जिससे प्रतिभागियों को व्यापक पहचान मिल सकेगी। इस तरह की प्रतियोगिताएं न केवल स्थानीय पर्यटन को बढ़ावा देंगी, बल्कि युवाओं में रचनात्मक अभिव्यक्ति और फोटोग्राफी कला के प्रति रुचि भी सशक्त रूप से बढ़ाएंगी, इसलिए राज्य के फोटोग्राफरों, पर्यटकों और आम नागरिकों से अधिक से अधिक संख्या में भाग लेने की अपील की गई है।

Paddy Seized: Around 1,52,000 quintals of paddy seized during illegal storage, transportation and sale in the state.
Chhattisgarh

Paddy Seized : प्रदेश में अवैध भण्डारण, परिवहन एवं विक्रय करते हुए लगभग 1 लाख 52 हजार क्विंटल धान जब्त

रायपुर, 07 दिसम्बर। Paddy Seized : छत्तीसगढ़ में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी प्रारम्भ होने के पूर्व से ही प्रदेश में अवैध धान के भण्डारण एवं परिवहन से आने वाले धान की कड़ी निगरानी रखी जा रही है। पिछले एक नवंबर से 6 दिसम्बर तक प्रदेश के विभिन्न जिलों से एक लाख 51 हजार 809 क्विंटल धान जब्त किया गया है। इस बार मार्कफेड द्वारा राज्य में अवैध परिवहन के जरिए अन्य राज्यों से छत्तीसगढ़ आने वाले धान को रोकने के लिए राज्य के सीमावर्ती जिलों में चेकपोस्ट और कलेक्टर की अध्यक्षता में टॉस्कफोर्स भी बनाए गए हैं। इसके साथ ही मार्कफेड में स्थापित इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर के माध्यम से समर्थन मूल्य पर धान खरीदी व्यवस्था की सतत् निगरानी की जा रही है। मार्कफेड द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार पिछले एक नवंबर से 6 दिसम्बर के अवधि में मण्डी अंिधनियम 1972 के तहत सीमावर्ती विभिन्न जिलों से छत्तीसगढ़ राज्य में अवैध परिवहन के माध्यम से आने वाले धान पर कार्यवाही की जा रही है। इनमें सर्वाधिक महासमुंद जिले में 25,718 क्विंटल धान जब्त किया गया है। इसी प्रकार धमतरी में 23,859 क्विंटल रायगढ़ जिले में 21,331 क्विंटल, राजनांदगांव 14,977 क्विंटल, बलरामपुर जिले में 9771 क्विंटल, बेमेतरा में 6490 क्विंटल, कवर्धा में 5734 क्विंटल, बालोद में 4595 क्विंटल, सारंगढ़-बिलाईगढ़ में 3770 क्विंटल, गौरेला-पेंड्रा-मरवाही जिले में 2868 क्विंटल, जशपुर जिले में 2771 क्विंटल, सूरजपुर जिले में 2650 क्विंटल, दुर्ग में 2350 क्विंटल, जांजगीर-चांपा में 2014 क्विंटल, बलौदाबाजार में 1855 क्विंटल, बीजापुर जिले में 1842 क्ंिवटल, रायपुर में 1679 क्विंटल, खैरागढ़-छुईखदान-गंडई में 1583 क्विंटल, मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर में 1500 क्विंटल, बस्तर जिले में 1560 क्विंटल, मोहला-मानपुर-चौकी में 1402 क्विंटल, गरियाबंद में 1393 क्विंटल, कोरबा में 1346 क्विंटल, सरगुजा में 1282 क्विंटल, कोरिया में 1237 क्विंटल, सक्ती में 1201 क्विंटल, कोण्डागांव जिले में 1148 क्विंटल, बिलासपुर में 1060 क्विंटल, कांकेर जिले में 1012 क्ंिवटल, मुंगेली में 917 क्विंटल, दंतेवाड़ा में 445 क्विंटल, नारायणपुर में 323 क्विंटल, सुकमा में 216 क्विंटल धान जब्त किए गए हैं। उल्लेखनीय है कि सीमावर्ती जिलों में निगरानी बढ़ाए जाने और त्वरित अलर्ट-रिस्पॉन्स सिस्टम की बदौलत अन्य राज्यों से धान की अवैध आमद को रोकने में प्रभावी सफलता मिल रही है।शासन ने स्पष्ट किया है कि धान खरीदी व्यवस्था में किसी भी प्रकार की अनियमितता और अवैध गतिविधि को हर स्तर पर जीरो टॉलरेंस के साथ रोका जाएगा।खाद्य विभाग के अधिकारियों ने बताया कि मार्कफेड द्वारा धान खरीदी व्यवस्था को पारदर्शी बनाने के लिए एकीकृत कंट्रोल सेंटर के माध्यम से रियल-टाइम निगरानी की जा रही है। साथ ही अवैध परिवहन के माध्यम से राज्य में आने वाले धान को रोकने के लिए पुलिस और जिला प्रशासन द्वारा सतत् निगरानी रखी जा रही है।

Swearing-in Ceremony: Education is the key to social development, Chief Minister Sai attended the swearing-in ceremony of Sarva Ravidas Samaj.
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Swearing-in Ceremony : शिक्षा ही सामाजिक विकास का मूलमंत्र, मुख्यमंत्री साय सर्व रविदास समाज के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल

रायपुर, 07 दिसंबर। Swearing-in Ceremony : सामाजिक विकास का वास्तविक आधार शिक्षा है। चाहे जीवन जीने की कला हो, व्यापार हो, कृषि हो या कोई अन्य क्षेत्र — हर क्षेत्र में सफलता का पहला कदम शिक्षा ही है। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने राजधानी रायपुर स्थित इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के कृषक सभागार में आयोजित छत्तीसगढ़ प्रदेश सर्व रविदास समाज के शपथ ग्रहण समारोह को संबोधित करते हुए यह बात कही। मुख्यमंत्री साय ने मंच पर सभी नव-निर्वाचित पदाधिकारियों को शपथ दिलाई और उन्हें शुभकामनाएँ दीं। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा कि राज्य सरकार प्रारंभ से ही शिक्षा के स्तर को उन्नत करने के लिए निरंतर प्रयासरत है। राज्य गठन के समय जहाँ मात्र एक मेडिकल कॉलेज था, वहीं आज प्रदेश में लगभग 15 मेडिकल कॉलेज संचालित हो रहे हैं। इसी प्रकार, छत्तीसगढ़ में आईआईटी, ट्रिपल-आईटी, आईआईएम, लॉ यूनिवर्सिटी, एम्स, सिपेट जैसे राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय स्तर के प्रतिष्ठित संस्थानों की स्थापना से स्थानीय युवाओं को बड़े अवसर प्राप्त हुए हैं। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि समाज को मजबूत और संगठित होना समय की आवश्यकता है, क्योंकि संगठित समाज ही राष्ट्र निर्माण में निर्णायक भूमिका निभाता है। उन्होंने प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के मूलमंत्र — “सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास” — का उल्लेख करते हुए कहा कि इन्हीं मार्गदर्शक सिद्धांतों के अनुसार राज्य सरकार 23 महीनों से सभी वर्गों के हित में काम कर रही है। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि प्रदेश सरकार ने हाल के महीनों में अनेक महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं जिसमें अन्नदाताओं के लिए कृषक उन्नति योजना, प्रत्येक परिवार को पक्का मकान देने हेतु प्रधानमंत्री आवास योजना, माताओं और बहनों को आर्थिक सुरक्षा प्रदान करने वाली महतारी वंदन योजना, दूरस्थ अंचलों में शिक्षकों की उपलब्धता सुनिश्चित करने हेतु शिक्षक युक्तियुक्तकरण जैसे कदम शामिल हैं। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि अब तक विभिन्न विभागों में 10 हजार से अधिक युवाओं को नियुक्ति पत्र प्रदान किए जा चुके हैं। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग की परीक्षाएं पूर्ण निष्पक्षता के साथ संपन्न कराई गई हैं, जिससे युवाओं में नया विश्वास उत्पन्न हुआ है।उन्होंने यह भी कहा कि वर्तमान परिदृश्य को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार ने नई उद्योग नीति लागू की है, जिससे स्थानीय लोगों को अधिक अवसर, रोज़गार और स्वरोजगार प्राप्त हो सकेगा। मुख्यमंत्री साय ने समाज के लोगों से आग्रह किया कि वे अधिकाधिक संख्या में शासन की योजनाओं का लाभ लेकर अपने जीवन में सकारात्मक परिवर्तन लाएँ। कार्यक्रम को छत्तीसगढ़ चर्म शिल्पकार विकास बोर्ड के अध्यक्ष ध्रुव कुमार मिर्धा ने भी संबोधित किया और नव-निर्वाचित पदाधिकारियों को बधाई दी। इस अवसर पर सर्व रविदास समाज छत्तीसगढ़ के प्रदेश अध्यक्ष विजय मेहरा, रायपुर संभाग आयुक्त महादेव कांवरे, दिलीप वासनीकर सहित बड़ी संख्या में जनप्रतिनिधि एवं गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।