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Suicide by Murder: The couple wrote a 33-page suicide note... then both of them committed suicide by poisoning the innocent child with a cold drink
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Suicide by Murder : ‘कपल’ ने 33 पन्नों का सुसाइड नोट लिखा…फिर मासूम बच्चे को कोल्डड्रिंक में जहर देकर दोनों ने कर ली आत्महत्या

शाहजहांपुर, 28 अगस्त। Suicide by Murder : शाहजहांपुर में एक व्यापारी परिवार की दर्दनाक कहानी सामने आई है। हैंडलूम व्यापारी सचिन ग्रोवर ने अपनी पत्नी शिवांगी और 3 साल के मासूम बेटे फतेह के साथ आत्महत्या कर ली। सचिन पर 50 लाख रुपये का कर्ज था और जिला उद्योग केंद्र के अधिकारी सब्सिडी दिलाने के बदले 25 लाख रुपये की रिश्वत मांग रहे थे। इस घटना ने पूरे शहर को झकझोर कर दिया है। हर कोई इस बात को लेकर सदमे में है कि आखिर कोई परिवार इतना मजबूर कैसे हो सकता है कि अपने बच्चे की हत्या कर दे और फिर खुद भी आत्महत्या कर ले। 33 पन्नों का सुसाइड नोट आपको बता दें कि पूरी घटना रोजा थाना क्षेत्र के दुर्गा एनक्लेव कॉलोनी की है। यहां व्यापारी सचिन ग्रोवर अपनी पत्नी शिवांगी और मासूम बेटे फतेह के साथ रहते थे। जानकारी के मुताबिक, सचिन ने अपने कारोबार के लिए जिला उद्योग केंद्र से ₹50 लाख का लोन लिया था। इस लोन पर सरकार की तरफ से भारी सब्सिडी मिलने वाली थी, लेकिन यहीं से उनकी परेशानी शुरू हुई।परिजनों के अनुसार, जिला उद्योग केंद्र के अधिकारी सब्सिडी दिलाने के बदले उनसे ₹25 लाख की रिश्वत मांग रहे थे। बेबस परिवार की बेबसी और निराशा ऐसी है कि शायद उन्होंने सोचा होगा कि अगर वे इस दुनिया में नहीं रहे तो उनका मासूम बच्चा अनाथ हो जाएगा। ऐसे में उन्होंने अपने बेटे को पहले जहर दिया, फिर खुद भी फांसी के फंदे पर झूल गए। पुलिस को मौके से 33 पन्नों का एक सुसाइड नोट मिला है। इसमें सचिन ने अपनी आपबीती लिखी है। माना जा रहा है कि नोट में कर्ज और रिश्वत की मांग करने वालों का जिक्र भी है। एसपी राजेश द्विवेदी ने बताया कि सुसाइड नोट के आधार पर जांच की जा रही है। उन्होंने कहा कि, पति-पत्नी और उनके बच्चे ने आत्महत्या की है। शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। जो भी तथ्य सामने आएंगे, उनके आधार पर विधिक कार्रवाई की जाएगी। परिवार, दोस्तों और रिश्तेदारों पर गंभीर आरोप सुसाइड नोट की शुरुआत ही दिल दहला देने वाली है। सचिन ने लिखा है, ‘जब यह लेटर किसी को मिलेगा, तब तक मैं सचिन ग्रोवर, मेरी पत्नी शिवांगी, मेरा बेटा फतेह मेरी जान, मेरा जहान सबकुछ खत्म हो चुका होगा। उन्होंने अपनी जिंदगी बर्बाद होने की वजह बरेली में कारोबार शुरू करने को बताया। लॉकडाउन के दौरान कारोबार में भारी नुकसान हुआ और उन पर कर्ज का बोझ बढ़ता गया। सचिन ने अपने सुसाइड नोट में बताया कि कैसे कर्ज से बाहर निकलने के लिए ससुराल वालों ने उनका साथ दिया लेकिन खुद के घरवालों ने नहीं। उन्होंने लिखा, ‘मेरी फैक्ट्री, मेरी ससुराल का घर और उनका जेवर सब गिरवी था। तभी मेरे सास-ससुर, साले और मेरी वाइफ ने पैसों और मॉरली फुल सपोर्ट करके मुझे इस टेंशन से निकाला। वहीं, उन्होंने अपने ही परिवार पर सपोर्ट न करने का आरोप लगाया। नोट में लिखा है, मेरी अपनी फैमिली ने मेरा कोई सपोर्ट नहीं किया। सचिन के सुसाइड नोट में कई ऐसे नाम हैं, जिन पर उन्होंने गंभीर आरोप (Suicide by Murder) लगाए हैं। उन्होंने अपने भाई, चाचा और कुछ दोस्तों को भी अपनी मौत का जिम्मेदार बताया है। हालांकि, पुलिस ने अभी इन नामों का खुलासा नहीं किया है, लेकिन सुसाइड नोट के आधार पर जांच शुरू कर दी गई है। यह सुसाइड नोट बताता है कि व्यापारी सिर्फ आर्थिक तंगी से ही नहीं, बल्कि अपनों की बेरुखी और धोखे से भी परेशान था।

Havoc on Trikuta Mountain: Rain of death broke out on Trikuta Mountain…! Pain of devotees- The roots of the mountain have shaken… spare Trikuta Mountain… see the painful scene here
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Havoc on Trikuta Mountain : त्रिकुटा पर्वत पर टूटी मौत की बारिश…! श्रद्धालुओं का दर्द- पहाड़ की जड़ें हिल गईं…त्रिकुटा पर्वत को बख्श दो…यहां देखें दर्दनाक मंजर

कटरा/जम्मू-कश्मीर, 28 अगस्त। Havoc on Trikuta Mountain : माता वैष्णो देवी के त्रिकुटा पर्वत पर मंगलवार को हुए भयंकर भूस्खलन ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। अब तक 34 श्रद्धालुओं की मौत की पुष्टि हो चुकी है, जबकि 20 से अधिक लोग घायल हैं। इस दर्दनाक हादसे के बाद वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड, प्रशासन और सरकार की कार्यशैली पर कड़े सवाल उठने लगे हैं। कटरा निवासी फूट-फूट कर रोया हजारों श्रद्धालुओं की आस्था का केंद्र माने जाने वाले त्रिकुटा पर्वत पर मचे सैलाब और पत्थरों की तबाही ने श्रद्धालुओं को स्तब्ध कर दिया है। सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो में एक कटरा निवासी फूट-फूट कर रोते हुए कहता है- माता रानी के पहाड़ों की जड़ें खोद दी हैं आपने। त्रिकुटा पर्वत को बख्श दो। ये विकास नहीं, विनाश है।” उसने श्राइन बोर्ड पर आरोप लगाया कि व्यवसायिक लाभ के लिए माता के धाम में पेड़ों की कटाई, जेसीबी से खुदाई और डीजल वाहनों की आवाजाही ने प्राकृतिक संतुलन को बिगाड़ दिया है। सोशल मीडिया पर छाया दुख और गुस्सा भक्त सोशल मीडिया पर पूछ रहे हैं, “क्या हम दोषी हैं?” “क्या मां की तपस्या में हम ही बाधा डाल रहे हैं?” दुर्गा सप्तशती की क्षमा प्रार्थना का हवाला देते हुए कई श्रद्धालु इस त्रासदी को आध्यात्मिक चेतावनी मान रहे हैं। हादसे की वजह मंगलवार दोपहर बाद करीब 3 बजे अर्धकुंवारी मां के पास भूस्खलन हुआ। हादसा भारी बारिश के बीच हुआ, जिसकी चेतावनी पहले ही दी जा चुकी थी। इसके बावजूद तीर्थ यात्रा जारी रखने की अनुमति देना अब बड़ी चूक मानी जा रही है। क्या कहता है प्रशासन? पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने घटना पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए सवाल किया, जब मौसम विभाग ने चेतावनी दी थी, तो फिर तीर्थयात्रियों को क्यों नहीं रोका गया? क्या उन्हें सुरक्षित स्थानों पर नहीं ले जाया जा सकता था? रेलवे पर भी पड़ा असर उठते सवाल इन सभी मुद्दों पर जनता अब खुलेआम विरोध दर्ज करा रही है। स्थानीय लोगों का कहना है कि अगर यही स्थिति बनी रही तो न मां रहेंगी, न यात्रा, न ही त्रिकुटा पर्वत। यह हादसा सिर्फ एक प्राकृतिक आपदा नहीं, बल्कि मानवजनित लापरवाही (Havoc on Trikuta Mountain) और अंधाधुंध विकास की भारी कीमत भी है। अब ज़रूरत है श्रद्धा के साथ-साथ संवेदनशीलता और संतुलित विकास नीति की। मां की तपस्या में बाधा न बने, यही अब सबसे बड़ी पुकार है।

Dead Body in Train Toilet: Horrifying incident...! The body of an innocent child was found face down in the toilet of the AC coach of the train... The throat of the innocent child was slit with a blade... The accused has been arrested
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Dead Body in Train Toilet : खौफनाक…! ट्रेन के AC कोच के टॉयलेट में औंधे मुंह पड़ा था मासूम का शव…ब्लेड से रेता मासूम का गला…आरोपी अरेस्ट

सूरत, 27 अगस्त। Dead Body in Train Toilet : गुजरात के सूरत जिले के अमरोली इलाके से लापता तीन साल के मासूम की हत्या और शव की मुंबई में बरामदगी से जुड़े मामले ने पूरे देश को झकझोर दिया है। अब इस सनसनीखेज वारदात का पर्दाफाश हो चुका है। जो खुलासा सामने आया है, वह न सिर्फ खौफनाक है, बल्कि रिश्तों की गहराई में छिपे गुस्से और प्रतिशोध की भयावह सच्चाई को भी उजागर करता है। गायब हुआ मासूम, फिर मिला ट्रेन के टॉयलेट में दरअसल, कुछ दिन पहले अमरोली में रहने वाला तीन साल का बच्चा खेलते हुए अचानक घर से लापता हो गया। परिवार ने गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई और बच्चे की हर जगह तलाश शुरू हुई। लेकिन किसी को अंदाज़ा नहीं था कि उसका शव मुंबई के लोकमान्य तिलक टर्मिनस पर खड़ी कुशीनगर एक्सप्रेस के टॉयलेट में मिलेगा। कातिल कोई और नहीं, खुद रिश्तेदार निकला मामले की जांच के दौरान पुलिस को पता चला कि बच्चे का अपहरण उसके ही मौसेरे भाई विकास शाह ने किया था। विकास हाल ही में बिहार से सूरत आया था और अपनी मौसी के घर ठहरा हुआ था। घरेलू विवाद के चलते मौसी ने विकास को घर छोड़ने को कहा था। इस बात से नाराज होकर उसने बदला लेने का रक्तरंजित प्लान बना डाला। सूरत से मुंबई तक ले गया मासूम को, ट्रेन में उतारा मौत के घाट आरोपी विकास ने मौसी के बेटे को चुपके से उठाया और मुंबई की ट्रेन में बैठ गया। कुशीनगर एक्सप्रेस के एसी कोच में, उसने पहले से तैयार योजना के तहत ब्लेड से मासूम का गला रेत दिया और शव को ट्रेन के टॉयलेट में फेंक कर फरार हो गया। मोबाइल की लोकेशन से पुलिस ने पकड़ा सुराग आरोपी बच्चे की मां का मोबाइल भी साथ ले गया था, जिसे वह बार-बार ऑन-ऑफ करता रहा। मोबाइल ट्रैकिंग के जरिए पुलिस को उसकी लोकेशन की जानकारी मिलती रही। आखिरकार मुंबई के बीकेसी इलाके में पुलिस ने छापेमारी की। विकास भागने की कोशिश कर रहा था, लेकिन सूरत क्राइम ब्रांच ने उसे दबोच लिया। आरोपी ने किया गुनाह कबूल, विदेशों में करता था नौकरी पुलिस पूछताछ में विकास शाह ने अपना जुर्म स्वीकार कर लिया है। डीसीपी भावेश रोजिया के अनुसार, आरोपी पहले ओमान, कतर और सऊदी अरब में काम कर चुका है। लेकिन छह महीने पहले वह भारत लौट आया और बेरोजगारी की स्थिति में था। इधर, परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल था। बदले की आग ने बुझा दी मासूम की जिंदगी इस वारदात ने यह दिखा दिया कि रिश्तों की दरार और गुस्से का नासूर जब हद से गुजरता है, तो मासूम जिंदगियों को भी निगल जाता है। एक युवक की घरेलू तकरार और आंतरिक कुंठा ने एक मासूम की हत्या कर दी, जिसने ना कुछ समझा, ना कुछ कहा, सिर्फ भरोसे में लिया गया और फिर निर्दयता से मार दिया गया।

Vaishno Devi Yatra: Heavy rain...! 31 deaths due to landslide on Vaishno Devi Yatra route... Jammu-Katra highway closed... 22 trains also cancelled
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Vaishno Devi Yatra : भारी बारिश…! वैष्णो देवी यात्रा रूट पर लैंडस्लाइड से 31 मौतें…जम्मू-कटरा हाईवे बंद…22 ट्रेनें भी रद्द…यहां देखें

जम्मू, 27 अगस्त। Vaishno Devi Yatra : जम्मू-कश्मीर में लगातार हो रही भारी बारिश ने राज्य में जनजीवन को बुरी तरह प्रभावित किया है। कटरा स्थित माता वैष्णो देवी मंदिर के यात्रा मार्ग पर बुधवार को हुए बड़े भूस्खलन में कम से कम 31 श्रद्धालुओं की मौत हो गई, जबकि 23 लोग घायल हुए हैं। राहत और बचाव कार्य अब भी जारी है, और आशंका जताई जा रही है कि मलबे के नीचे और लोग फंसे हो सकते हैं। वैष्णो देवी यात्रा पर ब्रेक त्रिकूट पर्वत पर स्थित वैष्णो देवी मंदिर के रास्ते का बड़ा हिस्सा भारी भूस्खलन के कारण मलबे में तब्दील हो गया है। भारी वर्षा के कारण कई जगह पत्थर गिरने और रास्ता धंसने की घटनाएं हुईं। यात्रा फिलहाल स्थगित कर दी गई है। कई जगहों पर भूस्खलन और मलबा जमा होने से जम्मू-कटरा राष्ट्रीय राजमार्ग को बंद कर दिया गया है। वैकल्पिक मार्गों से आवाजाही बहुत कठिन हो गई है। रेल सेवाएं प्रभावित नॉर्दर्न रेलवे ने 22 ट्रेनें रद्द कर दी हैं और 27 ट्रेनों को शॉर्ट-टर्मिनेट किया गया है। इससे वैष्णो देवी बेस कैंप कटरा से चलने वाली 9 ट्रेनें भी शामिल हैं। पठानकोट–कंदरोरी सेक्शन पर चक्की नदी में बाढ़ के कारण रेल यातायात रोक दिया गया है। जान-माल का नुकसान जम्मू में तवी नदी पर बना चौथा पुल ढह गया है। कुछ गाड़ियां फंस गई थीं, जिन्हें बाद में सुरक्षित निकाला गया। 3,500+ लोगों का रेस्क्यू। जिला प्रशासन, जेके पुलिस, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, सेना और स्थानीय वॉलंटियर्स की मदद से 3,500 से अधिक लोगों को बाढ़ग्रस्त और जोखिम वाले इलाकों से निकाला गया है। कई इलाकों में मोबाइल नेटवर्क और इंटरनेट सेवा बाधित है। इससे हजारों लोग संपर्क से बाहर हो गए हैं। सबसे ज्यादा प्रभावित क्षेत्र वर्तमान में जम्मू और आसपास के इलाकों में तेज आंधी-तूफान और भारी बारिश हो रही है। सबसे ज्यादा प्रभावित क्षेत्र हैं- जम्मू शहर, आरएसपुरा, सांबा, अखनूर, नगरोता, कोट भलवाल, बिश्नाह, विजयपुर, पुरमंडल, कठुआ और ऊधमपुर। वहीं रियासी, रामबन, डोडा, बिलावर, कटरा, रामनगर, हीरानगर, गूल और बनिहाल में हल्की बारिश हो रही है। प्रशासन द्वारा की गई राहत व्यवस्था अस्थायी शेल्टर बनाए गए हैं, जहां खाना, पानी और मेडिकल सहायता (Vaishno Devi Yatra) दी जा रही है। हाई-रिस्क इलाकों से निकासी का कार्य प्राथमिकता पर किया जा रहा है। इस बीच, प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि कोई भी व्यक्ति नदी के किनारे, पुलों या भूस्खलन संभावित क्षेत्रों में न जाए।

Deluge in Tawi River: Vehicles were running on the roads when suddenly the bridge collapsed...! Watch the horrifying LIVE VIDEO here
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Deluge in Tawi River : सड़कों पर दौड़ रहे थे वाहन तभी अचानक ढह गया पुल…! यहां देखें भयावह LIVE VIDEO

जम्मू, 27 अगस्त। Deluge in Tawi River : मंगलवार को भारी बारिश के चलते भगवती नगर में तवी नदी पर बना चौथा पुल ढह गया। वीडियो में स्पष्ट रूप से देखा जा सकता है कि जैसे ही पुल टूटता है, वाहन और सड़क कटाव में फंस जाते हैं, और लोग भागकर सुरक्षित स्थान की ओर भागते नजर आते हैं। भयावह वीडियो सामने आया वीडियो में लोग डर के मारे चिल्लाते हैं, “वो गया…ये गया…ओह शिट! बाहर निकलो, बाहर आ जाओ।” प्रशासन की घोषणाएं लगातार चल रही हैं, जिसमें लोग यात्रा न करें और नदी के पास से भी बचकर रहें, ये बताया जा रहा है। जम्मू में बीते तीन दिन से जारी बारिश ने भारी तबाही मचाई है। डोडा, किश्तवाड़, रियासी, राजौरी, रामबन, पुंछ सहित कई जिलों में व्यापक क्षति पहुंची है। कई गांव बाढ़ की चपेट में है। सेना, एसडीआरएफ, एनडीआरएफ और स्थानीय पुलिस-प्रशासन रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटी है। बादल फटने से हुई भारी बारिश ने कई नदियों के जलस्तर को भी बढ़ा दिया है। जम्मू में तवी नदी सबसे ज्यादा प्रलय मचाती नजर आ रही है। इसी तवी नदी पर बना एक पुल मंगलवार को बारिश के बीच धंस गया। इस पुल के धंसने के तुरंत बाद का लाइव वीडियो भी सामने आया है। जिसमें बारिश के बीच लोग अपनी गाड़ियों से पुल पार करते नजर आ रहे है। तभी अचानक पुल धंसता है। एक स्कॉर्पियो और दो कार पुल के धंसे हुए इलाके में फंस जाते हैं। राहत कार्य और प्रशासन की कार्रवाई लगभग चार वाहन पुल टूटने से प्रभावित हुए, लेकिन राहत टीमों ने सभी लोगों को सुरक्षित निकाल लिया है और इस संबंध में किसी हताहत की सूचना नहीं है। प्रशासन ने उस मार्ग को पूरी तरह बंद कर दिया है और जनता से ऐसे खतरनाक इलाकों में नहीं जाने की अपील की जा रही है। बड़ी स्थिति और मौसम संबंधी चेतावनी लगातार तीन दिनों से हो रही बारिश (Deluge in Tawi River) ने जम्मू–कश्मीर में तबाही मचा रखी है। वैष्णो देवी यात्रा मार्ग पर भूस्खलन और लापता लोग, नेशनल हाईवे बंद, इंटरनेट सेवा बाधित जैसे व्यापक हालात सामने आए हैं। प्रशासन, सेना और आपदा प्रबंधन दल राहत और बचाव कार्य में जुटे हुए हैं।

Tirupati Balaji Temple: Devotee donated 121 kg gold to Tirupati temple…worth ₹140 crores…you will be shocked to see the top 10 biggest donations…see the list here
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Tirupati Balaji Temple : तिरुपति मंदिर को भक्त ने दान किया 121 किलो सोना…कीमत ₹140 करोड़…शीर्ष 10 सबसे बड़े दान देखकर चौंक जाएंगे…यहां देखें List

तिरुमाला, 26 अगस्त। Tirupati Balaji Temple : विश्वविख्यात तिरुपति बालाजी मंदिर में श्रद्धा और भक्ति का एक अनोखा उदाहरण सामने आया है। एक भक्त ने मंदिर को 121 किलो सोना दान किया, जिसकी बाजार मूल्य लगभग ₹140 करोड़ रुपए आंकी गई है। इस ऐतिहासिक दान की जानकारी स्वयं आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू ने सार्वजनिक की, जिससे देशभर में चर्चा का विषय बन गया है। भक्ति से व्यापार तक, फिर लौटकर सेवा में समर्पण मुख्यमंत्री नायडू ने बताया कि यह भक्त पहले तिरुपति मंदिर में प्रार्थना कर व्यवसाय शुरू करने की प्रेरणा लेकर गया था। समय के साथ उस भक्त ने बड़ा व्यापार खड़ा किया और 6,000–7,000 करोड़ रुपए का मुनाफा कमाया। अपने जीवन की इस सफलता का श्रेय श्री वेंकटेश्वर स्वामी को देते हुए, उसने मंदिर को 121 किलो सोना भेंट करने का संकल्प लिया — जो अब पूरा कर दिया गया है। मूर्ति को प्रतिदिन 120 किलो सोने से सजाया जाता है मुख्यमंत्री ने बताया कि वर्तमान में तिरुपति मंदिर में स्थित भगवान श्री वेंकटेश्वर की मूर्ति को प्रतिदिन लगभग 120 किलो सोने के आभूषणों से सजाया जाता है। इस पर भक्त ने कहा कि वह इससे अधिक योगदान देना चाहता है और 140 करोड़ रुपये मूल्य का 121 किलो सोना दान करेगा, जिसे अब मंदिर ट्रस्ट को सौंप दिया गया है। भक्ति, आस्था और सेवा का प्रतीक तिरुमाला स्थित श्री वेंकटेश्वर मंदिर को दुनिया के सबसे धनी और श्रद्धेय मंदिरों में गिना जाता है। यहाँ हर दिन हजारों की संख्या में श्रद्धालु दर्शन के लिए आते हैं। मंदिर ट्रस्ट द्वारा व्यवस्थाओं को सुचारु बनाए रखने के लिए राज्य सरकार और टीटीडी (तिरुमला तिरुपति देवस्थानम) मिलकर काम करते हैं। श्रद्धा की शक्ति और दान की परंपरा तिरुपति मंदिर में दान केवल एक धार्मिक परंपरा नहीं, बल्कि धार्मिक आस्था, सामाजिक योगदान और व्यक्तिगत कृतज्ञता का प्रतीक है। आम आदमी से लेकर देश के बड़े उद्योगपति तक, सभी इस मंदिर के चरणों में श्रद्धा के रूप में धन और आभूषण अर्पित करते आए हैं। मुख्यमंत्री की ओर से श्रद्धालु को सम्मान मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने दानदाता की गोपनीयता बनाए रखते हुए उसकी भावना की सराहना की और कहा, यह दान केवल सोना नहीं, बल्कि भगवान के प्रति आस्था और समाज के प्रति जिम्मेदारी का प्रतीक है। यहाँ तिरुपति बालाजी मंदिर (श्री वेंकटेश्वर स्वामी मंदिर, तिरुमला) में अब तक मिले प्रमुख बड़े दान की सूची दी गई है। इस मंदिर को देश और दुनिया के सबसे धनी मंदिरों में गिना जाता है और समय-समय पर उद्योगपतियों, राजनेताओं, फिल्मी हस्तियों और आम भक्तों से करोड़ों का दान प्राप्त होता रहा है। तिरुपति बालाजी मंदिर में अब तक के प्रमुख बड़े दान वर्ष / तिथि दानकर्ता दान की प्रकृति अनुमानित मूल्य अगस्त 2025 अज्ञात भक्त 121 किलो सोना ₹140 करोड़ मई 2025 संजीव गोयनका (उद्योगपति) हीरा जड़ित सोने का हार ₹3.63 करोड़ जुलाई 2025 सुदर्शन एंटरप्राइजेज, चेन्नई 2.5 किलो सोना ₹2.4 करोड़ जनवरी 2025 वाईवीएसएस भास्कर राव (सेवानिवृत्त IRS अधिकारी) संपत्ति ₹3.66 करोड़ 2022 अज्ञात श्रद्धालु 108 सोने के सिक्के (प्रत्येक पर भगवान बालाजी की छवि) ₹50 लाख+ 2021 मुकेश अंबानी परिवार आभूषण, नकद और पूजा सामग्री ₹1.5 करोड़+ (अनुमानित) 2018 वी. विजयकांत रेड्डी (NRI) 2 करोड़ नकद और 2 किलो सोना ₹3.5 करोड़ 2015 एक गुप्त जापानी भक्त 5 किलो सोना ₹1.3 करोड़ (उस समय की दर पर) 2000 के दशक में रमेश कुमार (बेंगलुरु के व्यवसायी) हर साल ₹1 करोड़ नकद 10 वर्षों तक योगदान ध्यान देने योग्य बातें दान के प्रमुख रूप शीर्ष 10 बड़े दान क्र॰ दानकर्ता / स्रोत दान का विवरण मूल्य (अनुमानित) 1 निहितनाम NRI भक्त 121 किलो सोना ₹140 करोड़ 2 TTD द्वारा प्राप्त कुल (साल 2023) 1,031 किलो सोना ₹773 करोड़ 3 M. Ramalinga Raju (NRI) नकद योगदान ₹16 करोड़ 4 संजय पास्सी और श्रीमती शालिनी पास्सी (पास्को ग्रुप) नकद योगदान ₹10 करोड़ 5 गोपाल बालकृष्णन (तिरुनेलवेली) ₹7 करोड़ को 7 ट्रस्टों में विभाजित किया कुल ₹10 करोड़ 6 चेन्नई परिवार (रिवती विस्वनाथन) नकद ₹3.20 करोड़ + संपत्ति ₹6 करोड़ कुल ₹9.20 करोड़ 7 संजीव गोयनका (उद्योगपति) हीरा-न्यूक्त सोने का हार ₹3.63 करोड़ 8 YVSS भास्कर राव (सेवानिवृत्त IRS अधिकारी) संपत्ति दान ₹3.66 करोड़ 9 सुदर्शन एंटरप्राइजेज (चेन्नई) 2.5 किलो सोना ₹2.4 करोड़ 10 काल्यम रमन कृष्णमूर्ति (बेंगलुरु भक्त) ₹1 करोड़ नकद (अन्नदाय समर्थन ट्रस्ट) ₹1 करोड़

Canara Bank Fraud: Big action by ED...! 9.5 lakh cash... jewelry worth 2.33 crores... two vehicles... digital equipment seized... 50 bank accounts frozen... accused caught from a five star hotel like this
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Canara Bank Fraud : ईडी की बड़ी कार्रवाई…! 9.5 लाख नकदी…2.33 करोड़ के आभूषण…दो वाहन…डिजिटल उपकरण जब्त…50 बैंक खाते फ्रीज…फाइव स्टार होटल से ऐसे पकड़ा आरोपी

मुंबई, 26 अगस्त। Canara Bank Fraud : मुंबई में मौजूद ED के क्षेत्रीय कार्यालय की टीम ने केनरा बैंक से जुड़े 117.06 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के सिलसिले में वॉन्टेड आरोपी अमित अशोक थेपड़े को एक फाइव स्टार होटल से गिरफ्तार कर लिया। यह गिरफ्तारी धन शोधन निवारण अधिनियम (PMLA) 2002 के तहत चल रही जांच के तहत की गई है। ईडी के अधिकारियों ने बताया कि वॉन्टेड आरोपी अमित अशोक थेपड़े काफी समय से बचता फिर रहा था, लेकिन इसी दौरान ईडी की टीम को एक खुफिया जानकारी मिली। जिसके आधार पर 24 अगस्त को ईडी के अधिकारियों ने दक्षिण मुंबई के एक प्रमुख पांच सितारा होटल में छापेमारी की और वहां से आरोपी अमित अशोक को गिरफ्तार कर लिया।  ईडी के अधिकारियों ने जांच में पाया कि आरोपी उस फाइव स्टार होटल में पिछले दो महीनों से ठहरा हुआ था। जब होटल परिसर में तलाशी के दौरान 9.5 लाख रुपये की नकदी, 2.33 करोड़ रुपये मूल्य का सोना, सोने और हीरे के आभूषण, दो वाहन और डिजिटल उपकरण जब्त किए गए। साथ ही आरोपी से संबंधित 50 से ज़्यादा बैंक खाते फ्रीज कर दिए गए। जिनमें वित्तीय लेनदेन के महत्वपूर्ण सबूत होने का शक है। गिरफ्तारी कैसे हुई? पीएमएलए की स्पेशल कोर्ट ने आरोपी को पांच दिनों के लिए ईडी की हिरासत में भेज दिया है। ED ने सीबीआई और एसीबी, पुणे द्वारा गैलेक्सी कंस्ट्रक्शन्स एंड कॉन्ट्रैक्टर्स प्राइवेट लिमिटेड (GCCPL) और मिट्सम एंटरप्राइजेज प्राइवेट लिमिटेड (MEPL) के खिलाफ दर्ज दो एफआईआर के आधार पर जांच शुरू की। अमित थेपड़े के स्वामित्व और नियंत्रण वाली दोनों कंपनियों ने विभिन्न अचल संपत्तियों को गिरवी रखकर केनरा बैंक से ऋण सुविधाएं हासिल की थीं। जांच से पता चला कि आरोपियों ने पहले से बेची जा चुकी संपत्तियों को गिरवी रखकर या उन्हीं संपत्तियों को दो बार गिरवी रखकर बैंक को धोखा देने की साजिश रची, जिससे उन्हें लोन मिला और बाद में निजी उपयोग के लिए पैसा बैंक से निकाला गया। ED को आगे की जांच से पता चला है कि अमित थेपड़े ने आपराधिक गतिविधियों से प्राप्त अवैध धन को परतों में बांटने और एकीकृत करने के लिए एक जटिल वित्तीय नेटवर्क बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उसकी गिरफ्तारी व्यापक निगरानी और फोरेंसिक वित्तीय विश्लेषण के बाद हुई है, जिसमें कई ऐसे लेन-देन सामने आए हैं जिनका उद्देश्य अपराध की आय के वास्तविक स्रोत को छिपाना और उसे वैध संपत्ति के रूप में प्रस्तुत करना था। इस मामले में आगे की जांच जारी है। जब्ती और खुलासे होटल से बरामद ₹9.5 लाख नकद ₹2.33 करोड़ के सोने व हीरे के आभूषण दो लग्ज़री वाहन डिजिटल डिवाइसेज़ 50 से अधिक बैंक खातों को फ्रीज किया गया है, जिनमें संदेहास्पद लेनदेन के प्रमाण मिले हैं।

Dog Attacked: Student attacked by dog...! Student's cheek split into two parts...17 stitches on face
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Dog Attacked : छात्रा पर कुत्ते ने किया हमला…! दो हिस्सों में बंटा गाल…चेहरे पर लगे 17 टांके

कानपुर/उत्तर प्रदेश, 23 अगस्त। Dog Attacked : कानपुर में कॉलेज से लौट रही एक बी.बी.ए. छात्रा पर आवारा कुत्तों के झुंड ने हमला कर दिया, जिससे उसके चेहरे पर गंभीर चोटें आईं और उसे 17 टांके लगाने पड़े। छात्रा की हालत नाजुक है और उसे खाने-पीने में भी दिक्कत हो रही है। यह घटना इलाके में दहशत का माहौल पैदा कर रही है, जहाँ लोग अब घरों से निकलने में भी डर रहे हैं। दरअसल, सोमवार 20 अगस्त को श्याम नगर इलाके में कॉलेज से लौट रही छात्रा पर तीन आवारा कुत्तों ने जानलेवा हमला कर दिया। इस हमले में वह गंभीर रूप से घायल हो गई। सबसे भयावह बात यह है कि उसका गाल फटकर दो टुकड़ों में बंट गया, और डॉक्टरों को उसके चेहरे पर एक-दो नहीं बल्कि 17 टांके लगाने पड़े। पीड़िता की पहचान वैष्णवी साहू के रूप में हुई है, जो एलन हाउस रूमा कॉलेज में BBA अंतिम वर्ष की छात्रा है। घटना उस वक्त हुई जब वह रोज़ की तरह कॉलेज से घर लौट रही थी। कुत्तों और बंदरों के बीच झगड़ा बना काल रिपोर्ट्स के मुताबिक, इलाके में आवारा कुत्तों और बंदरों के बीच लड़ाई चल रही थी। इसी अफरा-तफरी में वैष्णवी जैसे ही वहां से गुजर रही थी, तीन कुत्तों ने उस पर झपट्टा मार दिया। उसे सड़क पर घसीटा गया, चेहरे, नाक और शरीर को नोचा गया, और खून से लथपथ हालत में छोड़ा गया। आवाज सुनकर दौड़े लोग स्थानीय लोगों ने जब छात्रा की दिल दहला देने वाली चीखें सुनीं, तो लाठी-डंडे लेकर दौड़ पड़े और बड़ी मुश्किल से कुत्तों को भगाया। उस वक्त तक छात्रा का चेहरा लहूलुहान हो चुका था। परिवार को सूचना दी गई, और उसे तत्काल कांशीराम अस्पताल ले जाया गया। डॉक्टर बोले– चोटें बेहद गहरी, खाना तक नहीं खा पा रही डॉक्टरों के मुताबिक, छात्रा के दाहिने गाल पर गहरी चोटें हैं, जो दो हिस्सों में बंट चुका था। उसे सिर्फ तरल आहार दिया जा रहा है, वो भी स्ट्रॉ के ज़रिए। परिवार का कहना है कि वैष्णवी शारीरिक के साथ-साथ मानसिक रूप से भी टूट चुकी है। परिवार की गुहार, सरकार कुछ करे, वरना हर दिन किसी की बेटी यूँ ही कटेगी। वैष्णवी के परिजनों ने राज्य सरकार और नगर निगम से अपील की है कि, या तो इन कुत्तों को शेल्टर में ले जाएं, या सड़कों से हटाएं। हमारी बेटी की ज़िंदगी बर्बाद हो गई, हम नहीं चाहते किसी और की बेटी भी ऐसा झेले। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बीच उठे सवाल यह घटना उस वक्त सामने आई है जब हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले में कहा था कि आवारा कुत्तों को नसबंदी के बाद वापस सड़कों पर छोड़ा जा सकता है। यह निर्णय पशु अधिकारों और मानव अधिकारों के बीच संतुलन बनाने के प्रयास के तहत लिया गया था। लेकिन कानपुर की इस भयावह घटना ने एक बार फिर इस फैसले की व्यावहारिकता और ज़मीनी हकीकत पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। अब यह सवाल उठने लगा है, क्या नसबंदी भर से कुत्ते शांत (Dog Attacked) और सुरक्षित हो जाएंगे?जब शहरों की सड़कों पर कुत्ते खुलेआम हमला कर रहे हैं, तो क्या उन्हें वहीं छोड़ देना सही है? इंसान की जान की कीमत और सड़क पर चलने का हक क्या कमतर हो गया है?

Newborn Body in Drain: Humanity shamed...! Newborn's body found stuck in the garbage of the drain... sensation spread in the area VIDEO
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Newborn Body in Drain : इंसानियत हुई शर्मसार…! नाले के कचरे में फंसा मिला नवजात का शव…इलाके में फैली सनसनी VIDEO

उधम सिंह नगर, 21 अगस्त। Newborn Body in Drain : उत्तराखंड जिले के आज़ाद नगर, वार्ड नंबर 7 से मानवता को झकझोर देने वाली घटना सामने आई है। ट्रांजिट कैंप क्षेत्र स्थित श्मशान घाट रोड पर एक नाले में नवजात शिशु का शव मिलने से पूरे इलाके में हड़कंप मच गया। इस हृदयविदारक दृश्य को देख स्थानीय लोगों के रोंगटे खड़े हो गए। नाले में तैर रहा था नवजात का शव गुरुवार सुबह स्थानीय लोगों की नजर नाले में तैरते हुए एक छोटे से शव पर पड़ी। पास जाकर देखने पर साफ हुआ कि वह एक नवजात शिशु है। लोगों ने तत्काल पुलिस को सूचना दी, जिसके बाद पुलिस टीम मौके पर पहुंची और शव को नाले से बाहर निकाला गया। शुरुआती जांच में सामने आए तथ्य पुलिस की प्रारंभिक जांच में पता चला है कि नवजात कुछ ही घंटे पहले जन्मा था। शव पर गर्भनाल के निशान और शरीर पर किसी प्रकार के कपड़े नहीं थे। आशंका है कि जन्म के तुरंत बाद ही उसे मरने के लिए नाले में फेंक दिया गया। पुलिस का मानना है कि यह अपराध सामाजिक बदनामी, अविवाहित मां या अनचाहे गर्भ के चलते किया गया हो सकता है। ऐसे मामलों में अक्सर आरोपी पहचान छिपाने के लिए नवजात को छोड़ देते हैं या मार डालते हैं। हम हर एंगल से जांच कर रहे हैं। फिलहाल पुलिस ने आसपास के लोगों से पूछताछ शुरू कर दी है, इलाके के सीसीटीवी फुटेज खंगाले जा रहे हैं, आसपास के अस्पतालों और क्लीनिकों से भी डिलीवरी की जानकारी जुटाई जा रही है। स्थानीय लोगों में आक्रोश घटना के बाद से इलाके में गंभीर आक्रोश और शोक का माहौल (Newborn Body in Drain) है। स्थानीय लोगों का कहना है कि यह घटना मानवता को कलंकित करने वाली है और ऐसे जघन्य अपराधियों को कड़ी सजा मिलनी चाहिए। पुलिस पर अब दबाव है कि जल्द से जल्द आरोपी को गिरफ्तार कर इंसाफ दिलाया जाए और ऐसे मामलों पर कड़ा संदेश दिया जाए।

Painful letter from senior SBI clerk Surendra Pal Singh…! Wrote- 'I am tired of daily insults…? Now he is missing, see the letter here
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SBI के वरिष्ठ क्लर्क सुरेंद्र पाल सिंह का दर्द भरा पत्र…! लिखा- ‘रोज की बेइज्जती से थक गया हूं…? अब हुआ लापता यहां देखें Letter

आगरा, 21 अगस्त। SBI : भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) की छीपीटोला स्थित हाउसिंग लोन शाखा के वरिष्ठ क्लर्क सुरेंद्र पाल सिंह (40 वर्ष) के अचानक लापता होने से हड़कंप मच गया है। 18 अगस्त को घर से निकले सुरेंद्र पाल अपने भांजे को एक पत्र सौंप कर यह कहकर निकले कि वे ‘दवा लेने जा रहे हैं’, लेकिन फिर लौटकर नहीं आए। इससे पहले उन्होंने एक भावुक और दर्द भरा पत्र लिखा, जिसमें उन्होंने अपने ऊपर बैंक के भीतर हो रहे मानसिक उत्पीड़न और अपमानजनक व्यवहार का विस्तार से जिक्र किया है। क्या लिखा था पत्र में? सुरेंद्र पाल सिंह द्वारा लिखे गए इस पत्र में उन्होंने कहा- “अब मैं और अपशब्द, गाली-गलौज नहीं सुन सकता। रोज की बेइज्जती से बहुत परेशान हो चुका हूं…मेरी मानसिकता जवाब दे चुकी है…अगर कुछ हुआ तो इसके जिम्मेदार एजीएम विक्रम कुमार धेजा होंगे।” उन्होंने आरोप लगाया कि एजीएम विक्रम कुमार धेजा उनके साथ स्टाफ और ग्राहकों के सामने अपमानजनक भाषा और व्यवहार करते थे। पत्र में यह भी उल्लेख है कि, उन पर झूठे आरोप लगाए जाते हैं, वेतन रोकने और अनचाही ट्रांसफर की धमकियां दी जाती हैं। सुरेंद्र पाल ने यह भी लिखा कि वह पहले से ही हाईपरटेंशन, एंग्जाइटी, सर्वाइकल और स्लिप डिस्क जैसी गंभीर बीमारियों से जूझ रहे हैं, ऐसे में इस तरह का मानसिक दबाव असहनीय हो गया है। परिजनों की पीड़ा और पुलिस की कार्रवाई सुरेंद्र पाल के परिजनों का कहना है कि दो दिन बीतने के बावजूद उनका कोई सुराग नहीं लगा है। उन्होंने आगरा पुलिस से एफआईआर दर्ज कराई है और पुलिस कमिश्नर दीपक कुमार से व्यक्तिगत रूप से मिलकर न्याय की गुहार लगाई है। उनके भाई मनोज पाल सिंह, जो गुजरात में एक बैंक में कार्यरत हैं, ने भी इसे कार्यस्थल पर मानसिक उत्पीड़न का गंभीर मामला बताते हुए सोशल मीडिया पर अपील की है। डीसीपी सिटी सोनम कुमार ने बताया कि, “थाने में मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। जांच जारी है और पुलिस हर संभव प्रयास कर रही है कि सुरेंद्र पाल को जल्द से जल्द सुरक्षित ढूंढा जा सके।” मानसिक उत्पीड़न का गंभीर पहलू यह मामला न सिर्फ एक बैंक कर्मचारी (SBI) के लापता होने की चिंता बढ़ाता है, बल्कि कार्यस्थल पर मानसिक स्वास्थ्य, सम्मान और कार्य का माहौल कैसा होना चाहिए, उस पर भी गंभीर सवाल खड़े करता है।