CG Election 2023: In Chhattisgarh, the credibility of these 10 ministers including CM-Deputy CM is at stake...see LISTCG Election 2023
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रायपुर, 02 दिसंबर। CG Election 2023 : विधानसभा चुनाव में प्राप्त मतों की गिनती की तैयारी पूरी हो चुकी हैं। कल रविवार को सभी जिला मुख्यालयों के स्ट्रांग रूम में गिनती सुबह आठ बजे शुरू होगी। इसी के साथ ही प्रदेश में किसकी सरकार बनेगी यह स्पष्ट हो जाएगा। छत्तीसगढ़ में इस बार मुख्यमंत्री भूपेश बघेल, उपमुख्यमंत्री टीएस सिंहदेव समेत वर्तमान कैबिनेट के 10 मंत्री, पूर्ववर्ती रमन कैबिनेट के 13 पूर्व मंत्री व भाजपा के चार सांसद भी चुनाव मैदान में हैं।

भाजपा के इन सांसद-पूर्व मंत्रियों की प्रतिष्ठा दांव पर

रायगढ़ सांसद गोमती साय
पूर्व मंत्री रामविचार नेताम
पूर्व केंद्रीय मंत्री विष्णुदेव साय प्रमुख नाम है।

कांग्रेस के ये दिग्गज भी है मैदान में

रविंद्र चौबे
अमरजीत भगत
गुरु रुद्रकुमार
डॉ. शिवकुमार डहरिया
उमेश पटेल
जयसिंह अग्रवाल

भूपेश बघेल, मुख्यमंत्री

गोबर-गोठान योजना से पहचान, छत्तीसगढ़िया छवि से मिला कका नाम। इस बार भी मुख्यमंत्री चेहरे के रूप में उनका ही नाम।
महादेव एप सट्टा मामले में विवाद, कोयला घोटाले में फंसे नजदीकी अफसर-नेता। भाजपा के प्रहार का सामना करना पड़ा।

डा. रमन सिंह, पूर्व मुख्यमंत्री

15 वर्ष तक बतौर मुख्यमंत्री मजबूत नेतृत्व, सार्वजनिक वितरण प्रणाली की बेहतर व्यवस्था से कहलाए चावल वाले बाबा।
पिछले पांच वर्ष तक सक्रियता अपेक्षाकृत कम, अपने क्षेत्र में समय कम दे पाना। जानकारों का मानना इसका असर दिखेगा।

टीएस सिंहदेव, उपमुख्यमंत्री

सरगुजा संभाग में स्वास्थ्य सुविधाओं से बनाई पहचान। राजघराने से ताल्लुक , मधुर व्यवहार के कारण लोकप्रिय।
अपने विधानसभा क्षेत्र में समय कम देना। अपनी ही सरकार के विरुद्ध बयानबाजी। सीएम ने बन पाने से उपेक्षा के शिकार।

विजय बघेल, दुर्ग सांसद

कुर्मी समाज के प्रदेश अध्यक्ष होने से ओबीसी वर्ग में मजबूत पकड़, तेजतर्रार छवि। अपने ही चाचा के खिलाफ लड़ रहे हैं चुनाव
पिछले पांच वर्ष तक संबंधित विधानसभा में सक्रियता कम, लोकसभा क्षेत्र के ग्रामीण क्षेत्रों में जनसंपर्क कम।

डॉ. चरण दास महंत, विधानसभा अध्यक्ष

मंत्री होने के नाते राष्ट्रीय राजनीति के अच्छे जानकार हैं। अच्छे प्रशासक और पार्टी में मजबूत पकड़।
ग्रामीण क्षेत्रों में जनसंपर्क का अभाव, बड़े नेताओं से संपर्क का अभाव। इस चुनाव में इसका असर देखने को मिल सकता है।\

रेणुका सिंह, सरगुजा सांसद व केंद्रीय मंत्री

सकारात्मक पक्ष: बेबाक, तेज तर्रार छवि, प्रशासनिक अधिकारियों से भिड़ने के कारण लोकप्रिय ।
बिगड़े बोल, सरगुजा लोकसभा क्षेत्र में विकास कार्य और जनता से दूरी। इसकी वजह से समाज में काफी नाराजगी।

ताम्रध्वज साहू, मंत्री

ग्रामीण क्षेत्र की सड़कों व मूलभूत सुविधाओं का विस्तार, साहू समाज में मजबूत पकड़। समाज में इसका मिलेगा फायदा
मंत्री के विभाग में परिवार का अनावश्यक हस्तक्षेप, गृहमंत्री होने के नाते कानून व्यवस्था में कमजोरी। साख लगी है दांव पर।

अरुण साव, बिलासपुर सांसद व भाजपाध्यक्ष

छत्तीसगढ़ विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष होने के साथ कुशल वक्ता में पहचान, कुर्मी समाज के प्रतिष्ठित नेता।
बेटे पर लगे दुष्कर्म के आरोप के चलते राजनीतिक प्रतिष्ठा में आंच। हालांकि मामला अब हाई कोर्ट ने रद कर दिया है।

छाया वर्मा, पूर्व राज्यसभा सदस्य

प्रदेश में ओबीसी वर्ग के कुर्मी समाज में मजबूत पकड़, तेजतर्रार छवि। इस वर्ग में खास पकड़ होने से वोट मिल सकते हैं।
विधायक के रूप में पहला चुनाव, संबंधित विधानसभा में सक्रियता कम। समाज के लिए विशेष योजनाएं न लाने पाने का आरोप

ओपी चौधरी, महामंत्री, भाजपा

भाजपा का नया चेहरा। मुख्यमंत्री चेहरे के रूप में प्रोजेक्ट किया जा रहा है। प्रशासनिक क्षेत्र में अच्छी पकड़ा का मिलता है फायदा।

मुख्यमंत्री का चेहरा कहे जाने की वजह से पार्टी में ही वरिष्ठ सहयोगियों (CG Election 2023) में इनको लेकर अंसतोष, नहीं मिल रही है मदद।

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